देश में बढ़ती रेप की घटनाओं से सुप्रीम कोर्ट चिंतित, कहा- निर्भया केस ने राष्ट्र के मानस को झकझोर दिया था
नई दिल्ली
देश में बलात्कार की बढ़ती घटनाओं पर गंभीर चिंता व्यक्त करते हुये सुप्रीम कोर्ट ने बुधवार को यौन अपराधों के संदर्भ में अपराध न्याय व्यवस्था का आकलन करने के लिये इनका स्वत: संज्ञान लिया। चीफ जस्टिस एस ए बोबडे, न्यायमूर्ति बी आर गवई और न्यायमूर्ति सूर्य कांत की पीठ ने 2012 के निर्भया सामूहिक बलात्कार और हत्या मामले का जिक्र करते हुये कहा कि इसने राष्ट्र के मानस को झकझोर दिया था।
पीठ ने कहा कि इस तरह के मामलों में विलंब ने हाल के समय में आन्दोलन और लोगों के मन में अशांति को जन्म दिया। पीठ ने इस तरह के मामलों में जांच, साक्ष्य जुटाना, फारेंसिक और मेडिकल साक्ष्य, पीड़ित के बयान दर्ज करना और मुकदमे की सुनवाई की समय सीमा सहित अनेक पहलुओं पर सभी राज्यों और उच्च न्यायालयों से सात फरवरी, 2020 तक स्थिति रिपोर्ट मांगी है।
पीठ ने कहा कि बलात्कार से संबंधित कानून के प्रावधानों पर अमल और स्थिति के बारे में जानकारी जुटाने की आवश्यकता है। पीठ ने न्यायालय की मदद के लिये इस मामले में वरिष्ठ अधिवक्ता सिद्धार्थ लूथरा को न्याय मित्र नियुक्त किया है।