2022 के मध्य तक एयर ट्रेन और ऑटोमेटेड पैसेंजर्स मूवर शुरू किया जाएगा

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 नई दिल्ली
दिल्ली एयरपोर्ट में 2022 तक एयर ट्रेन चल सकती है। एयरपोर्ट के मौजूदा विस्तार प्रॉजेक्ट 2022 में पूरा होनेवाला है और उसके बाद एयरपोर्ट देश का सबसे बड़ा एयरपोर्ट बन जाएगा। यात्रियों की सुविधा विस्तार के लिए दिल्ली एयरपोर्ट में कई नए फीचर्स जोड़े जाएंगे। इसके तहत 2022 के मध्य तक एयर ट्रेन और ऑटोमेटेड पैसेंजर्स मूवर शुरू किया जाएगा। एयर ट्रेन और एपीएम के जरिए टी1 के एक्सटेंशन और टर्मिनल 3 के बीच आवागमन काफी आसान हो जाएगा।

यात्रियों की बडी संख्या देखकर फैसला
टर्मिनल 1 के विस्तार और चौथे रनवे के तैयार हो जाने के बाद आईजीआई एयरपोर्ट से हर साल 10 करोड़ यात्री उड़ान भर सकेंगे। यात्रियों की अनुमानित संख्या को देखते हुए दिल्ली इंटरनैशनल एयरपोर्ट प्राइवेट लिमिटेड (DIAL) का मानना है कि इतनी बड़ी संख्या में यात्रियों को सिर्फ शटल बस सर्विस से ही लाना-ले जाना संभव नहीं होगा। फिलहाल दिल्ली एयरपोर्ट पर शटल बस सर्विस ही उपलब्ध है।

सिंगापुर की कंपनी से ली जा रही है सलाह
एक वरिष्ठ अधिकारी ने इस योजना की जानकारी देते हुए कहा कि इसके लिए सिंगापुर की एक कंसल्टेंट से सलाह ली जा रही है। वरिष्ठ अधिकारी ने कहा, 'हमने सिंगापुर की एक कसल्टेंट को इसके लिए नियुक्त किया है। फर्म पूरी जांच-पड़ताल के बाद यह फैसला लेगी कि एयरपोर्ट के लिए ट्राम, ऐलिवेटेड ट्रेन या कोई और विकल्प प्रयोग किया जा सकता है। टी1 और टी3 के बीच एपीएम के लिए जो भी व्यवस्था अधिक उचित रहे फिर चाहे वह एयरोसिटी हो या कार्गो, उस पर काम किया जाएगा। इस पूरी सुविधा के लिए करीब 2,000 से 2,500 करोड़ तक खर्च हो सकता है। हम यह भी देख रहे हैं कि यह सुविधा भी टी1 और चौथे रनवे विस्तार के साथ ही शुरू हो सकती है या नहीं।'

वॉकिंग डिस्टेंस पर तैयार होगा AMP
न्यू यॉर्क के जेएफके सिंगापुर के चांगी एयरपोर्ट से अलग आईजीआई का एएमपी टर्मिनल से बिल्कुल वॉकिंग डिस्टेंस पर होगा। वरिष्ठ अधिकारी ने इस बारे में कहा, 'टी3 और टी1 दोनों के ही बाहर से मेट्रो स्टेशन है। अभी तक इस प्रॉजेक्ट के लिए हमें मित्सुबिसी और एक स्विस कंपनी से ऑफर मिला है।'

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