भारत के दुश्मन को सबक सिखाना चाहते हैं इमरान, फजलुर रहमान पर देशद्रोह का केस चलाने की तैयारी
इस्लामाबाद
पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान भारत के दुश्मन को सबक सिखाना चाहते हैं। अटपटा लग सकता है। लेकिन सच है। इमरान खान ने पाकिस्तान संसद नेशनल असेंबली में कहा कि जमीयत उलेमा ए इस्लाम के चीफ मौलाना फजलुर रहमान पर देशद्रोह का मुकदमा चलना चाहिए। हालांकि इस मांग का भारत से कोई लेना-देना है नहीं। दरअसल ये इमरान का खुद का डर है। इमरान खान ने कहा कि फजलुर रहमान ने उनकी सरकार गिराने का षडयंत्र रचा है।
इमरान खान पाकिस्तान – तहरीके इंसाफ यानी पीटीआई के नेता हैं। उनकी फजलुर रहमान से पटती नहीं है। इमरान खान की मांग का नेशनल असेंबली में जम कर विरोध हुआ है। पाकिस्तान पीपुल्स पार्टी (पीपीपी) के चेयरमैन बिलावल भुट्टो जरदारी ने कहा कि अगर मौलाना फजलुर रहमान और ख्वाजा आसिफ के खिलाफ देशद्रोह का मुकदमा चलता है तो ये बेहद गलत होगा। वो कहते हैं, यहां मोस्ट वांटेंड आतंकवादी एहसानुल्ला एहसान चकमा देकर भाग जाता है तो कुछ नहीं होता लेकिन राजनीतिक नेतृत्व के खिलाफ इस तरह की कार्रवाई की जा रही है।
बिलावल भुट्टो ने कहा कि इमरान खान ये तो बताएं कि आखिर किन कारणों से फजल के खिलाफ देशद्रोह का मुकदमा ठोका जा रहा है। उधर ख्वाजा आसिफ ने कहा कि उन्हें इमरान खान से देशभक्ति का सर्टिफिकेट लेने की जरूरत नहीं है। ख्वाजा आसिफ पाकिस्तान मुस्लिम लीग – नवाज (पीएमएल-एन) के नेता हैं। पार्टी के सर्वोच्च नेता नवाज शरीफ आजकल लंदन में इलाज करा रहे हैं। ख्वाजा ने इमरान सरकार पर गंभीर आरोप लगाए। वो कहते हैं, कराची का पूर्व पुलिस कप्तान तहरीके तालिबान पाकिस्तान के आतंकी एहसानुल्ला एहसान के साथ खुलेआम घूमता है। तब कुछ नहीं होता। लेकिन नेताओं को निशाना बनाया जा रहा है। ये खतरनाक साबित होगा।
ख्वाजा ने कहा कि पाकिस्तान कंगाली के कगार पर है। जरूरी सामानों के दाम आसमान पर हैं। इन सच्चाइयों से मुंह छिपाने के लिए ही इमरान खान इस तरह की साजिश रच रहे हैं। उन्होंने कहा कि हालत इतने खराब हैं कि खुद इमरान की पार्टी पीटीआई के कार्यकर्ताओं ने पाकिस्तान टीवी के दफ्तर पर हमला कर दिया। संसद के भीतर मौलाना फजलुर रहमान के बेटे मौलाना असद महमूद मौजूद थे। उन्होंने इमरान को चेतावनदी दी। असद ने कहा कि संविधान की धारा 6 का इस्तेमाल उनके पिता के खिलाफ नहीं हो सकता। इस पर संसदीय कार्य मंत्री अली मोहम्मद खान ने कहा कि सरकार का मकसद किसी को निशाना बनाना नहीं है। पर वो ये कहने से नहीं चूके कि फजलुर को बताएं कि किसके कहने पर उन्होंने इमरान की सत्ता उखाड़ फेंकने की बात कही थी।
कौन है फजलुर रहमान
खैबर पख्तूनख्वा प्रांत में फजलुर रहमान का गढ़ है। उनकी पार्टी जमीयत उलेमा ए इस्लाम को कट्टर धार्मिक पार्टी कहा जाता है। मौलाना भारत के खिलाफ जहर उगलते रहे हैं और कश्मीर के मसले पर कई बार हाफिज मोहम्मद सईद के साथ खड़े नज़र आए हैं। फजलुर रहमान ने कई बार भारत के खिलाफ जेहाद का एलान किया है। उन्होंने बेनजरी भुट्टो का विरोध इसलिए किया था क्योंकि उनकी नजर में औरत का इस पद पर होना ठीक नहीं है। अफगानिस्तान पर अमेरिकी हमले के बाद उन्होंने जनरल परवेज मुशर्रफ की नाक में भी दम कर दिया था। वो नेशनल असेंबली में विपक्ष के नेता भी रह चुके हैं।