जगार मेला अब 11 फरवरी तक: जन भावनाओं को ध्यान में रखकर चार दिन और बढ़ाया गया
मेले में मिल रहा है लोगों का अच्छा प्रतिसाद अब तक लगभग 52 लाख रूपए की बिक्री
रायपुर, राज्य सरकार के ग्रामोद्योग विभाग से सम्बद्ध हस्तशिल्प विकास बोर्ड द्वारा राजधानी रायपुर के पंडरी हाट में आयोजित जगार मेला अब 11 फरवरी रविवार तक चलेगा। पहले इसकी अवधि सात फरवरी तक थी। लोगों की मांग और जनभावनाओं को ध्यान में रखते हुए राज्य शासन द्वारा मेले की अवधि में चार दिन की बढ़ोत्तरी की गयी है। उल्लेखनीय है कि पंडरी हाट मंे जगार मेला 2018 का आयोजन किया गया है। इसमें अखिल भारतीय हस्तशिल्प एवं हाथकरघा कपड़ों की भव्य प्रदर्शनी के साथ ही उनका विक्रय भी किया जा रहा है। जगार मेले का शुभारंभ विगत 30 जनवरी को मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह ने किया था। यह प्रदर्शनी प्रतिदिन सवेरे 11 बजे से रात्रि नौ बजे तक आम जनता के लिए खुली रहती है। मेले में लोगों के मनोरंजन के लिए प्रतिदिन शाम सात बजे सांस्कृतिक कार्यक्रमों का भी आयोजन किया जा रहा है। इसके साथ ही यहां विभिन्न तरह के छत्तीसगढ़ी व्यंजन भी उपलब्ध है, ताकि लोग इसका भी आनंद ले सकें।
हस्तशिल्प विकास बोर्ड के अधिकारियों ने आज यहां बताया कि मेले में लोगों का अच्छा प्रतिसाद मिल रहा है। मेले में अब तक लगभग 52 लाख रूपए के हस्तशिल्पों एवं हाथकरघा कपड़ों की बिक्री हो चुकी है। अधिकारियों ने बताया कि जगार मेले में छत्तीसगढ़ सहित 14 राज्यों- मध्यप्रदेश, ओडिशा, आंध्रप्रदेश, तेलंगना, जम्मू-कश्मीर, पंजाब, हरियाणा, नईदिल्ली, उत्तरप्रदेश, राजस्थान, गुजरात, महाराष्ट्र, पश्चिम बंगाल के लगभग 200 कलाकारों ने अपनी हस्तशिल्पों और हाथकरघा वस्त्रों की प्रदर्शनी लगाई है। मेले में हस्तशिल्पियों ने ढोकरा, बेलमेटल, लौहशिल्प, काष्ठ शिल्प, तुंबाशिल्प, बांस शिल्प, पत्थर शिल्प, कौड़ी शिल्प, कशीदाकारी, भित्ती चित्र, गोदना शिल्प, तुम्बा शिल्प, टेराकोटा, जूट शिल्प, ड्राय फ्लावर, ट्रायबल पेंटिंग आदि की प्रदर्शनी लगाई है, जो लोगों के आकर्षण का केन्द्र बना है।