गुजरात 22 साल की बीजेपी की तानाशाही और हमारे बीच टक्कर:जिग्नेश मेवाणी
JOGI EXPRESS
बीजेपी छोड़कर सब मेरा समर्थन करेंगे: जिग्नेश मेवाणी
गुजरात के दलित नेता जिग्नेश मेवाणी ने सोमवार को राज्य विधानसभा चुनाव के लिए निर्दलीय उम्मीदवार के तौर पर बनासकांठा ज़िले की वडगाम सीट से पर्चा भर दिया.कभी कांग्रेस के साथ जाते दिख रहे जिग्नेश ने इस फ़ैसले से सबको चौंका दिया क्योंकि अभी वडगाम सीट कांग्रेस के पास है. राजनीति में आने और कांग्रेस में न शामिल होने से जुड़े सवालों को जिग्नेश मेवाणी चुनाव लड़ने का फैसला देरी से इसलिए लिया क्योंकि हम सब थोड़ा असमंजस में थे. हम मूलतः तो आंदोलनकारी हैं और सड़कों की लड़ाई ही हम पर जचती है लेकिन पर्चे भरने के अंतिम दिन तक जनता का दबाव बन रहा था.पाटीदार समुदाय और ठाकोर समुदाय के लोग तक बोल रहे थे कि अल्पेश ठाकोर चुनाव लड़ रहे हैं, हार्दिक पटेल नहीं लड़ रहे तो आपको गुजरात की जनता विधानसभा में देखना चाहती है. आख़िर में हमने वडगाम सीट से लड़ने का फ़ैसला किया क्योंकि यहां हमें ठाकोर, दलित, मुस्लिम और सभी का जनसमर्थन है.
आख़िरी दिन क्यों चुना?
लोगों को चौंकाने का नहीं सरकार को चौंकाने का हमारा काम था. हम आंदोलनकारी हैं लेकिन जिन मुद्दों को लेकर हम लड़ रहे हैं वह बात पहुंचाने के लिए विधानसभा में जाना भी ज़रूरी था.हर दिन इस बात का दबाव था और यह जनता का दबाव था क्योंकि उनकी बात सरकार तक नहीं पहुंच रही थी. 22 साल से जनता के मुद्दों की बात बीजेपी सरकार तक नहीं पहुंचाई जा रही थी.
कांग्रेस की सीट चुनने की वजह?
जिग्नेश मेवाणी संघर्ष का प्रतीक है. 22 साल की बीजेपी की तानाशाही और हमारे बीच टक्कर है. आम आदमी पार्टी के नेता और दिल्ली के मुख्यमंत्री ने ट्वीट कर मुझे शुभकामनाएं दी हैं और आम आदमी पार्टी ने घोषणा की है कि वह अपना उम्मीदवार मेरे ख़िलाफ़ खड़ा नहीं करेगी और बहुजन समाज पार्टी भी शायद अपना उम्मीदवार खड़ा न करे.कांग्रेस भी मेरे ख़िलाफ़ अपना उम्मीदवार नहीं खड़ा करेगी. बीजेपी को छोड़कर सभी पार्टी हमारा समर्थन कर सकती हैं और जनता हमारी दोस्त है.
साभारः BBC