मध्यप्रदेश से उत्तरप्रदेश रेत ले जाने को लेकर राज्यों में टकराव, अफसरों की बैठक
भोपाल
मध्यप्रदेश की रेत उत्तरप्रदेश में ले जाने को लेकर दोनों ही राज्यों में टकराव की स्थिति बन रही है। टकराव की वजह एमपी से रेत का परिवहन यूपी में किया जाना है। दरअसल यूपी के पुलिस, राजस्व और माइनिंग अफसरों द्वारा एमपी से जाने वाली रेत को किसी न किसी बहाने अवैध बताते हैं वहीं एमपी से जाने वाली रेत को राज्य के अफसर नियमानुसार बता रहे हैं। इसलिए इस तरह के विवाद की स्थिति का निराकरण करने के लिए जल्द ही दोनों ही राज्यों के अफसरों की बैठक बुलाई जाने वाली है।
रेत के परिवहन को लेकर विवाद की जो मुख्य वजह है, उसके मुताबिक संचालित डम्परों का वजन यूपी में चले रहे डम्परों से वजन में 0.12 की मात्रा में हल्का होता है। इस कारण वहां ले जाने पर यूपी के माइनिंग, पुलिस और राजस्व अधिकारी वाहन को ओवरलोड बताकर उस पर कार्रवाई करते हैं। इसके अलावा ईटीपी जारी होने के बाद कई बार कार्रवाई करने के लिए वहां के अफसरों द्वारा बहानेबाजी कर ईटीपी अवैध होने, सर्वर न चलने से सही जानकारी न मिल पाने समेत अन्य बहाने बनाकर कार्रवाई करते हैं। ईटीपी जारी करने के समय सरकार जीएसटी वसूलती है जो नियमानुसार ठीक है और उसका हिस्सा यूपी सरकार को भी जाता है। इसलिए ऐसी कार्रवाई गलत है। इन सब मामलों के निराकरण के लिए जल्दी ही उत्तर प्रदेश के खनिकर्म विभाग के साथ बैठक करने की तैयारी है। गौरतलब है कि पूर्व में प्रमुख सचिव नीरज मंडलोई इसी तरह के विवाद के मामले में उत्तर प्रदेश सरकार के अफसरों को चिट्ठी भी लिख चुके हैं।
उधर सोशल मीडिया में इसको लेकर यूपी सरकार द्वारा चेकपोस्ट बनाए जाने की बात भी चर्चा में है। इसमें कहा गया है कि भोपाल और लखनऊ के डाटाबेस का मिलान कर इन चेकपोस्ट पर पिटपास की जांच की जाएगी। इसके बाद यूपी जाने के लिए ट्रांजिट पास जारी किए जाएंगे। यूपी सरकार इस पर टैक्स भी वसूलने की तैयारी कर रही है।