अब शादियों का दौर शुरू जनवरी से जून तक 58 से अधिक विवाह के मुहूर्त
रायपुर
मकर संक्रांति का पर्व धूमधाम से मनाने के बाद एक महीने से अधिक के अंतराल होने के कारण अब शहनाई की आवाज सुनाई देगी। जनवरी से जून तक 58 से अधिक शादी के मुहूर्त पड़ रहे हैं। ऐसे में विवाह जैसे शुभ कार्य समेत मुंडन, उपनयन, गृह प्रवेश आदि के शुभ मुहूर्त हैं। खरमास या मलमास में पूरे एक माह तक मांगलिक कार्य वर्जित रहते हैं। ऐसे में इस बीच शुभ कार्य को अशुभ मनाना जाता है। इधर लड्डुओं के त्योहार के साथ पीले हाथ करने का मौसम भी आया है।
महामाया मंदिर के पंडित मनोज शुक्ला ने बताया कि खरमास में पूरे माह तक मांगलिक नहीं किया जाता है। वहीं जनवरी से जून तक बात करें तो इस बीच कुल 58 शादी के मुहूर्त पड़ रहे हैं। इसके अलावा गृह प्रवेश, मुंडन, उपनयन आदि शुभ मुहूर्त हैं।
गौरतलब है कि 15 जनवरी को देशभर में मकर संक्रांति का पर्व हर्षोल्लास के साथ मनाया गया। लोगों ने पवित्र नदी के घाटों में स्नान कर भगवान सूर्य की आराधना की। वहीं स्नान के पर्व के साथ खरमास का भी समापन हो गया। पंडित के मुताबिक खरमास का प्रारंभ 16 दिसंबर 2019 से हुआ था, तब से एक माह के लिए शुभ कार्य वर्जित हो गए थे। वहीं 15 जनवरी के तड़के भगवान सूर्य 2 बजकर 8 मिनट पर मकर राशि में प्रवेश करते ही खलमास का समापन हो गया।
अप्रैल (वैशाख) में सबसे कम मुहूर्त
पंडितों के मुताबिक शादी में अप्रैल (वैशाख) में ज्यादा मुहूर्त होते थे। लेकिन इस वर्ष ऐसा नहीं हैं। इसका कारण यह हैं कि 14 मार्च से 15 अप्रैल खरमास माह की शुरूआत हो जाएगी। इस कारण खरमास में शादी समेत शुभ कार्य वर्जित रहते हैं। वहीं पिछले साल के मुकाबले इस वर्ष शादी की कम मुहूर्त हैं। प्रायः शादी हिन्दू में इस वर्ष लोग ज्यादा रामनवमीं के पर्व के मुहूर्त में करने का मन बना रहे हैं।
जनवरी से जून तक शादी के मुहूर्त
जनवरी
17, 18, 19, 20, 29, 30 और 31 जनवरी।
कुल 7 मुहूर्त
फरवरी
3, 4, 5, 9, 10, 11, 12, 13, 14, 16, 17, 18, 20, 25, 27 और 28।
कुल 16 मुहूर्त
मार्च
2, 3, 7, 8, 9, 10, 11, 12 और 13।
कुल 9 मुहूर्त
अप्रैल
26 अप्रैल
कुल 1 मुहूर्त
मई
1, 2, 3, 4, 6, 8, 9, 10, 11, 13, 17, 18, 19, 23, 24 और 25।
कुल 16 मुहूर्त
जून
13, 14, 15, 25, 26, 27, 28, 29 और 30।
कुल 9 मुहूर्त