हैदराबाद रेप-मर्डर: हाई कोर्ट ने एनकाउंटर के खिलाफ याचिकाओं पर सुनवाई स्थगित की
हैदराबाद
तेलंगाना हाई कोर्ट ने महिला डॉक्टर से गैंग रेप और उसकी हत्या के संदिग्ध चारों व्यक्तियों के कथित मुठभेड़ में मारे जाने के खिलाफ दायर याचिकाओं पर सुनवाई को अगले आदेश तक के लिए स्थगित कर दी। गुरुवार को अदालत ने यह विषय शुक्रवार के लिए निर्धारित किया था ताकि राज्य सरकार यहां सरकारी अस्पताल में रखे इन चारों आरोपियों के शवों की स्थिति पर सुप्रीम कोर्ट से स्पष्टीकरण प्राप्त कर सके। शवों को हाई कोर्ट के शुरुआती आदेशों के मुताबिक रखा गया है। सुप्रीम कोर्ट ने सुप्रीम कोर्ट के जज वी एस सिरपुरकर की अध्यक्षता वाला तीन सदस्यीय एक जांच आयोग नियुक्त किया है। यह आयोग उन परिस्थितियों की पड़ताल करेगा जो चार आरोपियों के मुठभेड़ में मारे जाने की वजह बनी। आयोग छह महीनों में सुप्रीम कोर्ट को अपनी रिपोर्ट सौंपेगा।
सुप्रीम कोर्ट ने शव सुरक्षित रखने को कहा था
सुप्रीम कोर्ट ने स्पष्ट किया था कि उसके अगले आदेश तक शवों को सुरक्षित रखा जाए। अदालत ने शुक्रवार को सुप्रीम कोर्ट के आदेश को दर्ज किया और विषय को अगले आदेश तक के लिए स्थगित कर दिया। उल्लेखनीय है कि पशु चिकित्सक से बलात्कार और गला घोंट कर उसकी हत्या करने तथा बाद में शव को जला देने के आरोप के बाद चारों संदिग्धों को 29 नवंबर को गिरफ्तार किया गया था।
चटनापल्ली में हुई थी मुठभेड़
बाद में इन चारों आरोपियों को पुलिस ने चटनापल्ली में कथित मुठभेड़ में उस वक्त मार गिराया था, जब मामले की तह तक पहुंचने के लिए उन्हें घटना स्थल पर ले जाया गया था। साइबराबाद पुलिस के मुताबिक उसके पुलिसकर्मियों ने उस वक्त जवाबी गोलीबारी की, जब आरोपियों में शामिल दो ने पुलिस के हथियार छीनने के बाद उस पर गोली चला दी। इसमें दो पुलिसकर्मी घायल हो गये थे। जनहित याचिका में आरोप लगाया गया है कि यह एक फर्जी मुठभेड़ थी।