November 22, 2024

नगर परिषद बरगवा अमलाई अध्यक्ष गीता गुप्ता के आह्वान पर सोडा फैक्ट्री एवं ओरिएंट पेपर मिल्स की हुई विशेष जांच।

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दशकों से जल वायु मृदा ध्वनि प्रदूषण कर रहा ओरिएंट पेपर मिल अमलाई एवं एच जे आई हेवी केमिकल प्लांट सोडा फैक्ट्री

अनूपपुर। दिनांक 6 फरवरी 2024 को भोपाल प्रदूषण विभाग के विशेष दल द्वारा सोडा फैक्ट्री एवं ओरिएंट पेपर मिल द्वारा फैलाई जा रहे प्रदूषण की जांच कराई गई ज्ञात होगी पूर्व में नगर परिषद अध्यक्ष द्वारा प्रदूषण विभाग भोपाल एवं मंत्रालय में इन दोनों ही कारखाने द्वारा कई वर्षों से फैलाया जा रहे प्रदूषण की विधिवत जांच का आग्रह किया गया था जिसके क्रियान्वन में भोपाल एवं शहडोल प्रदूषण विभाग के एक विशेष दल ने विधिवत जांच की जांच करता अधिकारियों ने पाया कि पेपर मिल द्वारा जल वायु ध्वनि मिट्टी आदि प्रदूषण अधिक मात्रा में किया जा रहा है चार्ज दल में यह भी पाया कि सोन नदी में बने हुए डैम के पास इनके द्वारा कागज कारखाने से निकला हुआ गंदा व जहरीला पानी सोन नदी के साफ पानी में सीधा छोड़ा जा रहा है जिसको तत्काल बंद करने के निर्देश अधिकारियों द्वारा OPM फैक्ट्री से मौके पर प्रस्तुत रवि शर्मा एवं इंजीनियर रवि गुप्ता को दिया गया साथ ही अधिकारियों ने यह निर्देश दिया कि नदी में एक रियल टाइम मॉनिटरिंग सिस्टम लगाया जाए जिससे समय-समय पर इनके द्वारा फैलाया जा रहे जल प्रदूषण की जानकारी रियल टाइम में वेबसाइट के द्वारा सभी जनता जनार्दन को मिल सके
साथ ही अधिकारियों ने जगह-जगह बोर से एवं हैंडपंप से निकल रहे पानी की भी सैंपलिंग की जिससे यह पता लगाया जा सके की वर्षों से उनके द्वारा किए जा रहे प्रदूषण का ग्राउंडवाटर में क्या दुष्प्रभाव हुआ है अध्यक्ष गीता गुप्ता ने अधिकारियों को यह भी बताया की वर्षों से यह फैक्ट्रियां इस क्षेत्र में कार्यरत हैं और मुनाफा कमा रही हैं लेकिन इन्हें जनता से जुड़े हुए काम जैसे रोड पानी साफ सफाई से कोई लेना-देना नहीं है उन्होंने यह भी बताया कि इनका रवैया जनता एवं जनप्रतिनिधियों के लिए बहुत ही उदासीन रहा है। की गई शिकायत के आधार पर जांच प्रदूषण की जांच करने जांच दल में आदेश श्रीवास्तव सुपरिटेंडेंट इंजीनियर एमपी पॉल्यूशन कंट्रोल बोर्ड भोपाल, प्रेम श्रीवास्तव वरिष्ठ साइंटिस्ट एमपी पॉल्यूशन कंट्रोल बोर्ड भोपाल, श्री संजीव मेहरा क्षेत्रीय प्रदूषण नियंत्रण अधिकारी रीजनल मैनेजर शहडोल, नगर परिषद अध्यक्ष श्रीमती गीता गुप्ता, विधायक प्रतिनिधि अभिषेक गुप्ता एवं क्षेत्रीय जनमानस के साथ उद्योग के रवि शर्मा एवं रवि गुप्ता उपस्थित रहे।

दशकों से प्रदूषण बेरोजगारी बांट रही दोनों उद्योग विकास एवं सुविधाएं फोटोग्राफी एवं कागज पर चल रहा।
उद्योग की स्थापना संचालन भूमि अधिग्रहण और उद्योग के संचालन के उपरांत लगभग 7 दशक से इनके द्वारा किए जा रहे हैं प्रदूषण गंदगी से प्रभावित क्षेत्रीय जनमानस इस कदर इनके द्वारा जनहित में सिर्फ और सिर्फ फोटोग्राफी एवं कागजों में क्षेत्र की विकास की गाथा प्रदूषण से मुक्ति का गुणगान इनके उद्योग में जनसंपर्क विभाग का दायित्व निर्वहन करने वाली अधिकारियों द्वारा किया जाता रहा जो कि सिर्फ एक दिखावा रहा है और इस दिखावे से शासन प्रशासन एवं संबंधित विभाग चाहे वह क्षेत्र के विकास का जिम्मा लिए अधिकारी हो या फिर प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड पहले के समय में तो ओरिएंट पेपर मिल एवं हैवी केमिकल प्लांट एच जे आई के द्वारा शुरुआती दौर पर इनके उद्योग के प्रदूषण और इस क्षेत्र के शिक्षकों के द्वारा अपनी भूमि अधिग्रहण होने के बाद कुछ समय तक मूलभूत एवं बुनियादी सुविधाएं उपलब्ध कराई जाती रही है जिसमें चिकित्सा सुविधा के साथ एम्बुलेंस मरीज को ले जाने के लिए शहडोल जिला चिकित्सालय तक की व्यवस्था इनके द्वारा संचालित विद्यालयों में निशुल्क शिक्षा व्यवस्था छात्र-छात्राओं के लिए बस वहां की सुविधा के साथ वहां अध्यनरत छात्रों को कॉपी किताब की व्यवस्था की जाती रही यही नहीं पेयजल के नाम पर क्षेत्र के कई जगहों पर स्टैंड पोस्ट ओवरहेड पानी टंकियां लगाकर पेयजल सुविधा मुहैया कराया जाता था। और में अब आगमन के लिए सड़कों की दुरुस्त व्यवस्था की गई थी किंतु जब से प्रबंधन में उद्योग और क्षेत्र के विकास को लेकर बनी उद्योग की कमेटी समिति और तरह-तरह के एनजीओ के माध्यम से किसी भी प्रकार की सड़क सुविधाओं को नजरअंदाज करते हुए वर्तमान स्थिति में सड़कों की दुर्दशा है जो लगभग 30 40 वर्षों से उन्हें सुधारने का प्रयास नहीं किया गया यही नहीं उद्योग के अधिकारियों के द्वारा शासन प्रशासन को गुमराह कर उद्योग के उत्पादन में होने वाले लाभ का दो प्रतिशत भाग क्षेत्र के विकास के लिए वेलफेयर राशि के रूप में खर्च करने का प्रावधान है किंतु आज की स्थिति में दोनों उद्योगों के प्रबंधक वर्ग के द्वारा ना तो क्षेत्र के विकास की बात सूची जाती है और ना ही वेलफेयर राशि के नाम पर कोई विकास कार्य किए जाते हैं इनके द्वारा इनके प्रदूषण से प्रभावित और बेरोजगारी का दंश झेल रहे स्थानीय निवासियों के साथ अन्यायपूर्ण आचरण करते जा रहे हैं।
इनके द्वारा अनियंत्रित प्रदूषण गंदगी एवं धीमी जहर के नाम पर जल मृदा वायु को भी प्रदूषित किया जा रहा क्या इस क्षेत्र के युवा बेरोजगार स्थानीय कृषक एवं स्थानीय जैन सिर्फ और सिर्फ इनके द्वारा बेरोजगारी प्रदूषण एवं गंदगी का शिकार है इन्हें अपनी जिम्मेदारी और जनहित में किए जाने वाले विकास कार्यों मूलभूत एवं बुनियादी सुविधाओं से धीरे-धीरे पूर्णतया वंचित कर दिया गया और आज की स्थिति में उद्योग में मैनेजर के पद पर या अन्य अधिकारियों के पदों पर पदासीन होकर अपने रिश्तेदार परिवार जनों और अपने करीबी लोगों को उद्योग में कम पर रखकर इस क्षेत्र के लोगों के साथ सौतेला पूर्ण व्यवहार करते हुए ईस्ट इंडिया कंपनी की तर्ज पर फूट डालो और शासन करो की नीति अपनाकर दिन दोगुनी और रात चौगुनी कमाई कर रहे शासन को इनके द्वारा धमकी दी जाती है की उद्योग बंद कर देंगे और उद्योग का उत्पादन नहीं हो रहा है सन 1965 से संचालित उद्योग अन्यत्र शासन के उद्यमों एवं औद्योगिक इकाइयों में समय के अनुसार उत्पादन में बढ़ोतरी एवं कार्य श्रमिक मजदूर के वेतनमान की बढ़ोतरी 5 से 6 गुनी हो गई किंतु ओरिएंट पेपर मिल कागज कारखाना एवं हैवी केमिकल प्लांट एच जे आई में आज भी मजदूर 200 से 300 की मजदूरी करने के लिए विवश है और वर्तमान स्थिति में ठेकेदारी प्रथा का संचालन होने के कारण उनकी यह दयनीय स्थिति उनके रहन-सहन और जीवन यापन में काफी कठिनाइयों को पैदा कर रहा है।
क्या इन 70 सालों में उद्योग ने अपनी उद्योग उत्पादन की क्षमता वही की वही स्थिति स्थिर रखी हुई है या फिर कई गुना उत्पादन कर रहे जिससे चोरी छुपे उद्योग के अंदर इनकी उत्पादन क्षमता पूर्व में 300 टन की रही है और आज की स्थिति में 1000 से कम ना होगी किंतु इनके द्वारा उद्योग के उत्पादन को लेकर शासन के समक्ष रोना रोते हुए इस क्षेत्र को सिर्फ प्रदूषण और गंदगी ही बाटी है ना की यहां के प्रभावित लोगों को रोजगार एवं अन्य मूलभूत एवं बुनियादी सुविधाओं को लेकर सक्रियता दिखाई इन से प्रभावित क्षेत्र के प्रतिभाशाली खिलाड़ियों के साथ उनके विकास को प्रभावित करने जैसे वारदात को अंजाम देने से भी अछूते नहीं इनके द्वारा उद्योग के अंदर के कर्मचारियों से ही टीम निर्माण कर अपने खेल मैदान में टूर्नामेंट का आयोजन किया जाता है और क्षेत्रीय खिलाड़ियों एवं प्रतिभावान लोगों को आगे बढ़ाने के अवसर से वंचित कर दिया जाता है।
क्या वर्षों से हो रहे इस अन्याय पूर्ण आचरण और वातावरण को प्रभावित करते हुए क्षेत्रीय जनों को प्रदूषण के नाम पर धीमी जहर के रूप में परोसा जा रहा है सब कुछ जानते हुए भी प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के साथ इनके काली करतूतो एवं कारनामों पर अंकुश लगाने में नाकाम प्रशासन भी चुप्पी साधे हैं।

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