प्रत्येक ग्राम पंचायत में आवारा पशुओं को गौठानों में रखकर देखभाल करें गौठान समितियां – डाॅ आशुतोष
जिला पंचायत कोरिया से रोका छेका अंतर्गत प्रत्येक ग्राम पंचायत में चराई बंदी लागू करने के निर्देश जारी
बैकुण्ठपुर दिनांक 18/7/23 – मानसून के सक्रियता के साथ ही पूरे क्षेत्र में धान और अन्य फसलों की खेती प्रारंभ हो चुकी है एैसे में आवश्यक है कि खेती की सुरक्षा के लिए सभी ग्राम पंचायतों में चराई बंदी लागू की जाए। इस संबंध मे सभी ग्राम पंचायतों में आवश्यक मुनादी और रोकाछेका करने के लिए जिला पंचायत कार्यालय से विस्तृत निर्देश जारी किए गए हैं। रोका छेका अभियान के तहत सभी पालतू पशुओं केा घरों में बांधकर रखने के साथ ही ग्राम पंचायतों में घूम कर खेती का नुकसान करने वाले आवारा पशुओं को गौठानों में रखकर देखभाल करने के निर्देश जारी किए गए हैं। इस संबंध मंे जानकारी देते हुए जिला पंचायत के मुख्यकार्यपालन अधिकारी डाॅ आशुतोष चतुर्वेदी ने बताया कि ग्राम पंचायतों में चराई बंदी लागू करने के संबंध में निर्देष जारी किए गए हैं। साथ ही सभी जनपद पंचायतों के मुख्यकार्यपालन अधिकारियों को विषेष तौर पर निर्देषित किया गया है कि मुख्य मार्गों से लगी सभी ग्राम पंचायतों मंे यह पूरी कड़ाई के साथ लागू किया जाए ताकि किसी भी सड़क पर आवारा पषु ना रहें और किसी भी तरह की दुर्घटना से बचा जा सके। रोका छेका अभियान के बारे में जानकारी देते हुए जिला पंचायत सीइओ डाॅ आषुतोष ने बताया कि जिला पंचायत कोरिया के अंतर्गत आने वाले जिला कोरिया एवं जिला एमसीबी की सभी जनपद पंचायतों मंे रोका छेका अभियान लगातार जारी है। इसके तहत ग्राम गौठानों में पषुओं के देखभाल और बीमारियों से बचाव के लिए जरूरी टीकाकरण आदि लगातार कराया जा रहा है। ग्राम पंचायतों मंे कोटवार के माध्यम से मुनादी कराकर सभी पषुपालकों को अपने पालतू पषु बांधकर रखने के निर्देष प्रसारित किए जा रहे हैं।
जिला पंचायत सीइओ ने बताया कि सबसे ज्यादा जरूरी है कि प्रत्येक गांव मंे चराई बंदी लागू की जाए और इसका सभी पूरी कड़ाई से पालन करें इससे दोहरा लाभ होगा। एक ओर खेती की बढ़ती लागत में चराई हो जाने से संभावित फसलों का नुकसान पूरी तरह से बचेगा और दूसरी ओर मुख्य मार्गों पर पषुओं के ना होने से आए दिन हो रही सड़क दुर्घटनाओं पर भी नियंत्रण हो सकेगा। सीइओ ने आगे कहा कि प्रत्येक ग्राम पंचायत में सुराजी ग्राम योजना के तहत ग्राम गौठान बनाए गए है और इनमें चारे और पानी के साथ षेड भी उपलब्ध है। इसका नियंत्रण ग्राम पंचायत के अंतर्गत बनी हुई स्थानीय जनों की एक ग्राम गौठान समिति के पास है। यह समितियां अपने स्तर पर आवारा पशुओं का नियंत्रण करें और इसमें ग्राम पंचायत आवश्यक सहयोग प्रदान करेगा। इस संबंध में निर्देश जारी कर दिए गए हैं। चराई बंदी के इस दोहरे लाभ के लिए प्रत्येक ग्राम पंचायत में रोका छेका अभियान के तहत पूरी तरह से आवारा पशुओं को नियंत्रित करना होगा जिससे गांव में किसान पूरी निश्चिंतता के साथ अपनी फसलें लें सकें। जिला पंचायत सीइओ ने निर्देशों की अवहेलना करने वाले ग्राम पंचायतों और ग्राम गौठान समितियों को चिन्हित कर लापरवाही करने वालों पर कार्यवाही हेतु प्रतिवेदन भेजने के निर्देश भी सभी जनपदों को जारी कर दिए हैं।
संलग्न – फोटो 4 शिविर, सीइओ जिला पंचायत।