भैयाथान बीईओ का एक और कारनामा ,सामान्य प्रशासन समिति के अनुमोदन बिना ही नियम विरुद्ध तरीके से पुत्र सहितअपने ख़ास लोगो को दिया शासन का पैसा
सूरजपुर,अजय तिवारी : जिले के भैयाथान ब्लॉक में पदस्थ विकास खण्ड शिक्षा अधिकारी अपने विवादित कार्यप्रणाली के वजह से आजकल लगातार सुर्खियों में छाए हुए है जिनका एक और आश्चर्यजनक कारनामा सामने आया है जिसमे उनके द्वारा अपने पुत्र समेत कई अन्य चहेते शिक्षाकर्मियों को नियम विरुद्ध तरीके से समयमान वेतन दिया गया है ।
गौरतलब है कि जिले भर के शिक्षाकर्मी जिस समयमान वेतन के लिए जिला पंचायत की सामान्य प्रशासन समिति के अनुमोदन की प्रतीक्षा कर एक एक दिन गिन रहे है वहीं भैयाथान बीईओ उस समयमान वेतन को बिना सामान्य समिति के अनुमोदन और बिना जिलापंचायत के आदेश के बिना ही अपने पुत्र समेत अन्य कुछ चहेते शिक्षाकर्मियो को भुगतान कर दिया।
विदित हो कि एक ही पद पर 7 वर्ष की सेवा पूर्ण करने वाले शिक्षाकर्मियों को समयमान वेतन का लाभ प्राप्त होता है और वहीं वर्ग 01 व 02 के शिक्षाकर्मियो लिए नियमानुसार इस वेतन के भुगतान हेतु जिला पंचायत की सामान्य प्रशासन समिति द्वारा अनुमोदन के पश्चात जिला पंचायत कार्यालय से विधिवत आदेश जारी किया जाता है।
यहां पर गौर करने वाली बात यह है कि कई महीने पूर्व से ही जिले भर के समयमान वेतनमान के पात्र शिक्षाकर्मियो का प्रस्ताव अनुमोदन हेतु सामान्य प्रशासन समिति में रखा गया है लेकिन विगत चार बार से कोरम पूरा नही होने के कारण यह बैठक स्थगित कर दी जाती रही है और अब 31 जनवरी को यह बैठक पुनः रखी गयी थी जिसका इंतजार सभी शिक्षाकर्मी दिन गिन गिन कर रहे है लेकिन यह इंतजार भैयाथान बीईओ को रास नही आया और पुत्र मोह में अपने अधिकार क्षेत्र से बाहर जाकर उन्होंने मनमाने तरीके से जिला पंचायत के आदेश बिना ही अनुमोदन की प्रत्याशा में समयमान वेतन नवम्बर 2017 में ही जारी कर दिया ।
जब इस मामले को लेकर विकासखण्ड शिक्षा अधिकारी भैयाथान एम .एन. पवार से फोन पर सम्पर्क कर जानकारी लिया गया तो उनके द्वारा बताया गया कि वर्ग 03 का समयमान वेतन 15 दिन पूर्व जारी किया गया है तथा वर्ग 01 और 02 के लिए जिला पँचायत में प्रस्ताव भेजा गया है जब उनसे यह कहा गया कि आपके द्वारा तो नवम्बर माह में ही वर्ग 02 के लगभग 10 शिक्षाकर्मीयो को समयमान वेतन दिया जा चुका है जिसके वेतन पत्रक में आपके पुत्र अखिलेन्द्र सिंह पवार का भी नाम है तो उनके द्वारा यह बोल कर एक सिरे से नकार दिया गया कि नही अभी लागू नही हुआ।
वहीं इस सम्बंध में जब भैयाथान जनपद सीईओ अनिल अग्निहोत्री से बात की गई तो उन्होंने बताया कि वेतन बिल बीईओ कार्यालय द्वारा बीईओ के सत्यापन उपरांत ही जनपद कार्यालय में भेजा जाता है चुकी बीईओ को ड्राइंग पावर नही है इसलिए जनपद सीईओ के हस्ताक्षर पश्चात ही ट्रेजरी में भुगतान हेतु यह भेजा जाता है अगर उसमे गलत तरीके से भुगतान हुआ है तो उसके लिए बीईओ ही पूर्ण रूप से जिम्मेदार है
समयमान वेतमान के लिए सामान्य प्रशासन समिति बैठक 31जनवरी 2018 को रखी गयी थी जो कि अब आगामी सोमवार दिनांक को सुनिश्चित की गई है अगर भैयाथान बीईओ द्वारा नवम्बर 2017 में ही समयमान वेतन जारी किया गया है तो यह नियमविरुद्ध तरीके से किया गया है साथ ही उनके द्वारा सामान्य प्रशासन समिति के सदस्यों के अधिकारों का भी किया गया है जिनके विरुद्ध कार्यवाही की अनुशंसा की जाएगी।
अशोक जगते
जिला अध्यक्ष
जिला पंचायत सूरजपुर
मुझे इस सम्बंध में आपके द्वारा ही जानकारी मिली है ।यदि बीएओ द्वारा बिना सामान्य प्रशासन के अनुमोदन एवम बिना जिला पंचायत कार्यालय से आदेश प्राप्त हुए यदि समयमान वेतनमान दिया गया है तो गलत है जिसमे जांच कराने के पश्चात दोषी पाए जाने पर आवश्यक कार्यवाही की जाएगी ।
संजीव झा
मुख्यकार्यपालन अधिकारी जिला पंचायत सूरजपुर
यदि ऐसा वाकई में हुआ है तो यह भ्रष्टाचार की चरम सीमा पार है पहले नियम विरुद्ध तरीके से एरियर्स भुगतान और अब बिना अनुमोदन/आदेश के समयमान वेतनमान भुगतान ,बस अब देखना यह है कि बीईओ साहब के विरुद्ध कोई कार्यवाही होती भी है कि सिर्फ खानापूर्ति की जाती है।
सचिन त्रिपाठी
जिलाध्यक्ष
शिक्षाकर्मी संघ सूरजपुर
बहरहाल अब यह देखना बाकी है बीईओ साहब के विगत तीन दिन में तीन मामले सामने आने के बाद भी जिले के उच्च अधिकारियों द्वारा जांच करते हुए कब तक कोई ठोस कार्यवाही की जाती है या फिर अन्य मामलों की तरह ही इन मामलों को भी जांच के नाम पर फाइलों में दफन कर दिया जाता है ।