किसानों की आय दोगुनी करने में कृषि सहकारी समितियां भी कारगर हो सकती हैं कृषि मंत्री बृजमोहन अग्रवाल

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कृषि मंत्री ने कृभको द्वारा आयोजित एक दिवसीय राज्य स्तरीय सहकारिता सम्मेलन का किया शुभारंभ

रायपुर-कृषि मंत्री श्री बृजमोहन अग्रवाल ने कहा है कि किसानों का प्राथमिक कृषि सहकारी साख समितियों से गहरा जुड़ाव होता है। खेती-किसानी शुरू करने के लिए अल्पकालीन कृषि ऋण लेने के साथ समर्थन मूल्य पर धान बेचने तक सहकारी समितियों से किसानों का वास्ता रहता है। प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी के वर्ष 2022 तक किसानों की आय दोगुनी करने के अभियान की सफलता में सहकारी समितियां कारगर साबित हो सकती है। उन्होंने कहा कि सहकारी समितियों का उपयोग किसानों को आधुनिक और उन्नत तौर-तरीके से खेती करने के लिए प्रोत्साहित करने के लिए भी किया जाना चाहिए। श्री अग्रवाल आज यहां कृषक भारतीय को-ऑपरेटिव्ह लिमिटेड (कृभको) की रायपुर इकाई द्वारा आयोजित एक दिवसीय राज्य स्तरीय सहकारिता सम्मेलन को मुख्य अतिथि की आसंदी से संबोधित कर रहे थे। कृभको के अध्यक्ष एवं राज्यसभा सांसद श्री चंद्रपाल सिंह यादव ने सम्मेलन की अध्यक्षता की। श्री अग्रवाल ने दीप प्रज्जवलित कर सम्मेलन का शुभारंभ किया।
कृषि मंत्री श्री अग्रवाल ने कहा कि खेती किसानी के लिए किसानों को सहकारिता के जरिए जरूरी मदद करने में कृभको का देश में एक नाम है। कृभको ने किसान हितैषी कार्यों की वजह से एक अलग पहचान बनाई है। कृभको द्वारा वर्तमान में किसानों को कृषि आदान उपलब्ध कराने का काम सहकारी समितियों के माध्यम से किया जा रहा है। नये दौर में कृभको को किसानों की आय दोगुनी करने का जरिया बनाने की जरूरत है। किसानों को संगठित करने का काम भी कृभको को करना चाहिए। कृषि उत्पादों की उचित विपणन व्यवस्था करने के लिए भी कृभको को आगे आना चाहिए।
श्री अग्रवाल ने कहा कि किसानों की आय बढ़ाने के लिए उन्हें खेती-किसानी के उन्नत तौर-तरीके अपनाने के लिए प्रोत्साहित करने की जरूरत है। कृभको को इस ओर भी योजना बनाकर काम करना चाहिए। खेती-किसानी के लिए किसानों को प्रशिक्षित करने का काम भी कृभको को अपने हाथों में लेना चाहिए। उन्होंने कहा कि सहकारी समितियों और कृभको का महत्व किसानों की वजह से है। समिति और कृभको को किसानों के हित में अधिक से अधिक कार्य करना चाहिए। श्री अग्रवाल ने कहा कि केन्द्र और राज्य सरकार द्वारा किसानों के लिए अनेक योजनाएं चलाई जा रही है। इन योजनाओं के क्रियान्वयन में सहकारी समितियों की बड़ी जिम्मेदारी है। सहकारी समितियां किसानों के लिए प्रेरक केन्द्र बन सकती हैं। श्री अग्रवाल ने कहा कि छत्तीसगढ़ खेती-किसानी के क्षेत्र में भी विकसित राज्यों की श्रेणी में पहुंचने के लिए तेजी से आगे बढ़ रहा है। उन्होंने कहा कि छत्तीसगढ़ की 90 प्रतिशत आबादी आजीविका के लिए खेती और खेती-किसानी से जुड़ी गतिविधियों पर आश्रित है।
कृभको के अध्यक्ष श्री श्री चंद्रपाल सिंह यादव ने कहा कि किसानों को ज्यादा से ज्यादा सुविधाएं उपलब्ध कराना हमारी संस्था का उद्देश्य है। किसानों को कृषि आदान उपलब्ध कराने में कृभको पूरी जिम्मेदारी के साथ कार्य कर रहा है। किसानों को उनकी मांग के अनुरूप सही समय पर उचित दर पर कृषि आदान सामग्री उपलब्ध कराई जा रही है। कृभको द्वारा रासायनिक उर्वरकों, बीजों और जैविक खादों का उत्पादन किया जा रहा है। उन्होंने छोटे-छोटे उद्योग-धंधे चलाने वाले लोगों से भी सहकारिता से जोड़ने का आग्रह किया। भविष्य में सहकारी समितियों के माध्यम से किसानों को प्रशिक्षित करने का कार्य किया जाएगा। श्री यादव ने कहा कि नया राज्य बनने के बाद छत्तीसगढ़ के किसानों में खुशहाली आयी है। छत्तीसगढ़ के विकास में किसानों का योगदान सराहनीय है। किसानों को उनकी उपज का उचित मूल्य दिलाने में सहकारिता की भी महत्वपूर्ण भूमिका है। इस दिशा में ठोस कदम उठाने गंभीरता से विचार किया जा रहा है। सहकारी समितियों के विकास के लिए भी कार्य किया जाएगा। उन्होंने कहा कि छत्तीसगढ़ के किसानों को खेती-किसानी के लिए सुविधाएं उपलब्ध कराने कृभको हरसंभव मदद करेगा।
मार्कफेड के प्रबंध संचालक श्री अलबंगन पी. ने छत्तीसगढ़ में किसानों को खाद-बीज वितरण व्यवस्था की विस्तार से जानकारी देते हुए किसानों का फायदा बढ़ाने के लिए कृषि मार्केटिंग पर जोर दिया। उन्होंने कहा कि खेती-किसानी में आधुनिक तकनीक का उपयोग होने से उत्पादन के साथ-साथ लागत भी बढ़ती जा रही है। उत्पादन लागत कम होने से ही किसानों की आय बढ़ेगी। उन्होंने फसल चक्र परिवर्तन अपनाने के साथ-साथ उर्वरकों के समुचित उपयोग के लिए किसानों में जागरूकता लाने की जरूरत बतायी। कृभको के अधिकारी श्री सिंह ने कहा कि किसानों को अधिक से अधिक कृषि आदान सामग्री उनकी जरूरत के समय सही कीमत पर उपलब्ध कराना कृभको का मुख्य कार्य है। कृषि आदान सामग्री में गुणवत्ता का विशेष ध्यान रखा जाता है। अपेक्स बैंक के प्रबंध संचालक श्री एच.के. नागदेव ने सहकारी समितियों से किसानों को अल्पकालीन कृषि ऋण देने की व्यवस्था के बारे में बताया। अपर संचालक कृषि श्री आसना ने बताया कि किसानों को कृभको से नियमित खाद-बीज की आपूर्ति की जा रही है। इस साल किसानों को खाद और बीज उपलब्ध कराने बेहतर व्यवस्था की गई है। इस अवसर पर अपेक्स बैंक के अध्यक्ष श्री अशोक बजाज, मार्कफेड के अध्यक्ष श्री राधाकृष्ण गुप्ता समेत कृभको, अपेक्स बैंक और सहकारी समितियों के प्रतिनिधि उपस्थित थे।

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