आरएसएस किस हैसियत से श्री राम मंदिर के चंदा एकत्रित करने जा रही -कांग्रेस
मंदिर निर्माण तो कोर्ट के आदेश पर बनी कमेटी के नेतृत्व में हो रहा
श्री राम मंदिर निर्माण हेतु पहले एकत्रित चंदे के हजारो करोड़ किसके पास है ?
रायपुर /5 दिसम्बर /अयोध्या में भगवान राम के बनने वाले मंदिर के लिए आरएसएस द्वारा चंदा एकत्रित किये जाने पर कांग्रेस ने सवाल खड़ा किया है।प्रदेश कांग्रेस के प्रवक्ता सुशील आनंद शुक्ला ने कहा कि अयोध्या में भगवान राम के मंदिर का निर्माण सुप्रीमकोर्ट के निर्णय के बाद हो रहा है ।मंदिर निर्माण के लिए उच्चतम न्यायालय के निर्देश पर कमेटी बनी है ।मंदिर निर्माण उसी कमेटी की देख रेख में होगा ।कमेटी ने मंदिर निर्माण में सहयोग के लिए अपना बैंक खाता भी सार्वजनिक किया है जिस किसी श्रद्धालु को मंदिर निर्माण में सहयोग करना होगा इसी खाते में सीधे सहयोग कर सकता है।आरएसएस किस हैसियत से मंदिर के नाम पर चंदा एकत्रित करने जा रही है ?उसे चंदा एकत्रित करने के लिए किसने अधिकृत किया है ?
कांग्रेस प्रवक्ता ने कहा कि मंदिर के चंदे के नाम पर एक बार फिर से दुकानदारी शुरू के देश के लोगो की भावनाओं के दोहन का प्रयास किया जा रहा है। 1996 में अयोध्या में कार सेवा के बाद भाजपा और उसके सहयोगी स्वयं भू कुछ हिन्दू संगठनों ने देश भर में श्री राम शिला पूजन के नाम से गांव गांव से शिला मंगवाया था और मंदिर निर्माण के नाम पर चंदा भी एकत्रित किया गया ।बताते है कि मंदिर निर्माण के नाम पर एकत्रित किया गये इस चंदे की राशि डेढ़ हजारकरोड़ रु से अधिक की है ।विश्व हिंदू परिषद के वरिष्ठ पदाधिकारी ने और भाजपा के ही एक सांसद ने इस चंदे के बारे में अनेकों बार सार्वजनिक बयान दिया था ।भाजपा और आरएसएस के लोग बताए कि श्री राम मंदिर के नाम पर एकत्रित किया गया हजारो करोड़ रु कहा गया ?यह राशि किसके पास है ?इतनी बड़ी धनराशि के बावजूद फिर से चंदा एकत्रित करने की जरूरत क्यो पड़ रही है ?हजारो करोड़ की इस राशि मे तो भव्य मनमोहक विहंगम भगवान राम का मंदिर बन कर तैयार हो जाएगा ।
कांग्रेस प्रवक्ता सुशील आनंद शुक्ला ने कहा कि भगवान राम हिंदुओ और भारतवासियों के आस्था के केंद्र है ।उनके मंदिर के निर्माण के नाम पर चंदा एकत्रित करना और उसमें हेराफेरी महापाप है।आरएसएस भगवान राम के नाम पर अपनी दुकानदारी करना बंद करे और बताए कि पहले एकत्रित किया गया श्री राम मंदिर का पैसा किसके पास है ?उस चंदे का हिसाब सार्वजनिक किया जाय।
सुशील आनंद शुक्ला
सदस्य
कांग्रेस संचार विभाग