आज ग्रामीण भारत बंद, भरपूर समर्थन
रायपुर
अखिल भारतीय किसान संघर्ष समन्वय समिति और भूमि अधिकार आंदोलन सहित अनेक संयुक्त मंचों से जुड़े देश के 228 किसान संगठनों ने मिलकर कल 8 जनवरी को देशव्यापी ग्रामीण भारत बंद का आह्वान किया है। इसी परिप्रेक्ष्य में छत्तीसगढ़ में भी किसानों और दलित-आदिवासियों से जुड़े 25 से ज्यादा संगठनों ने प्रदेश में इस बंद को सफल बनाने का आव्हान करते हुए ग्रामीणों से अपील की है कि इस दिन वे अपनी खेती-किसानी का कोई काम न करें, अपना काम-धंधा बंद रखकर सब्जी, दूध, अंडा, मछली जैसा अपना कृषि उत्पाद न बेचे, न ही कोई सामान खरीदे, कृषि उपज मंडियों को बंद रखें और जगह-जगह रास्ता रोको आंदोलन और धरना-प्रदर्शन-रैली करें और सरकार की कृषि व किसान विरोधी नीतियों के खिलाफ अपनी आवाज बुलंद करें।
छत्तीसगढ़ किसान सभा के प्रांतीय अध्यक्ष संजय पराते ने बताया कि ग्रामीण भारत बंद की मुख्य मांगों में मोदी सरकार द्वारा खेती और कृषि उत्पादन तथा विपणन में देशी-विदेशी कारपोरेट कंपनियों की घुसपैठ का विरोध, किसान आत्महत्याओं की जिम्मेदार नीतियों की वापसी, खाद-बीज-कीटनाशकों के क्षेत्र में मिलावट, मुनाफाखोरी और ठगी तथा उपज के लाभकारी दामों से जुडी स्वामीनाथन आयोग की रिपोर्ट पर अमल की मांगे शामिल हैं।
उन्होंने जानकारी दी कि कल राजनांदगांव, अभनपुर, अम्बिकापुर, रायगढ़ में विशाल मजदूर-किसान रैलियां निकाली जाएगी, तो धमतरी में मंडी बंद रखकर असंगठित क्षेत्र के मजदूरों के साथ बड़ी संख्या में किसान गिरफ्तारियां देंगे। दुर्ग में गांधी प्रतिमा पर, रायपुर के तिल्दा ब्लॉक में बंगोली धान खरीदी केंद्र पर, सरगुजा जिले के सखौली और लुण्ड्रा जनपद कार्यालय पर, सूरजपुर जिले के कल्याणपुर और पलमा में, कोरबा में कलेक्टोरेट पर, चांपा में एसडीएम कार्यालय पर, महासमुंद में, रायगढ़ के सरिया में विशाल किसान धरने आयोजित किये जायेंगे। प्रशासन को ज्ञापन सौंपे जाएंगे।