10 सेंट्रल ट्रेड यूनियन की तरफ से बंद का ऐलान, 6 बैंक यूनियन ने भी बंद के समर्थन में
नई दिल्ली
आठ जनवरी को 10 ट्रेड यूनियन की तरफ से भारत बंद का ऐलान किया गया है। छह बैंक यूनियन ने भी हड़ताल का समर्थन किया है जिसके कारण बैंकिंग कामकाज पर असर होगा। बैंक बंद रहने का असर एटीएम पर भी होगा और 8-9 जनवरी को एटीएम में कैश की किल्लत हो सकती है। ट्रेड यूनियन्स की तरफ से संयुक्त बयान में कहा गया है कि इस हड़ताल में करीब 25 करोड़ लोग शामिल हो सकते हैं। भारत बंद से जुड़े इन प्रमुख बातों को जानना जरूरी है।
1. कौन-कौन 10 ट्रेड यूनियन हड़ताल में शामिल?
INTUC, AITUC, HMS, CITU, AIUTUC, TUCC, SEWA, AICCTU, LPF, UTUC और कई अन्य सेक्टोरल इंडिपेंडेंट फेडरेशन और असोसिएशन्स हड़ताल में शामिल हैं।
2. और किसका हड़ताल को समर्थन?
इसके अलावा 60 स्टूडेंट यूनियन यूनिवर्सिटीज के अधिकारियों ने भी हड़ताल का हिस्सा बनने का ऐलान किया है। ये शिक्षा संस्थानों में फीस बढ़ोतरी और शिक्षा के कमर्शलाइजेशन का विरोध करेंगे।
3. कौन-कौन बैंक यूनियन शामिल?
छह बैंक यूनियन- ऑल इंडिया बैंक एंप्लॉयी असोसिएशन (AIBEA),ऑल इंडिया बैंक ऑफिसर्स असोसिएशन (AIBOA), BEFI, INBEF, INBOC और बैंक कर्मचारी सेना महासंघ (BKSM) कह चुका है कि वे हड़ताल का समर्थन करेंगे। जो बैंक यूनियन समर्थन कर रहे हैं, उनके समर्थित बैंक कल बंद रहेंगे।
4. एटीएम पर क्या होगा असर?
अगर बैंक के कामकाज पर असर होगा और ज्यादातर बैंक बंद रहेंगे तो कैश का डिस्ट्रीब्यूशन नहीं हो पाएगा जिसके कारण एटीएम में कैश की किल्लत हो सकती है। कैश किल्लत की समस्य 9 जनवरी को भी बनी रह सकती है।
5. बैंक में क्या-क्या काम नहीं होंगे?
बैंक से कैश निकासी और जमा करना संभव नहीं होगा, इसके अलावा चेक क्लियरिंग का काम भी नहीं होगा। हालांकि ऑनलाइन बैंकिंग के कामकाज पर किसी तरह का असर नहीं होगा। कई बैंक शेयर बाजार को जानकारी दे चुके हैं कि वे आठ जनवरी को बंद रहेंगे।
6. प्राइवेट बैंक पर भी होगा असर?
हड़ताल का प्राइवेट बैंक पर कोई असर नहीं होगा।
7. बैंक हड़ताल में क्यों शामिल?
बैंक कर्मचारी बैंक मर्जर के फैसले का लगातार विरोध कर रहे हैं। इसी वजह से वे हड़ताल में शामिल हो रहे हैं।
8. भारत बंद का मकसद क्या है?
केंद्र सरकार की आर्थिक और जन विरोधी नीतियों के विरोध में ट्रेड यूनियन्स की तरफ से हड़ताल का आयोजन किया गया है। इसके अलावा वे प्रस्तावित लेबर लॉ का भी विरोध कर रहे हैं। स्टूडेंट यूनियन्स शिक्षण संस्थानों में फीस बढ़ाने का विरोध कर रहे हैं।
9. कितने लोग हड़ताल में शामिल होंगे?
ट्रेड यूनियन्स की तरफ से संयुक्त बयान जारी कर कहा गया कि इस हड़ताल में करीब 25 करोड़ लोग शामिल हो सकते हैं।
10. सरकार का क्या कहना है?
2 जनवरी को ट्रेड यूनियन के प्रतिनिधि लेबर मिनिस्टर से मिले लेकिन बात नहीं बन पाई जिसकी वजह से ट्रेड यूनियन ने आठ तारीख को घोषित हड़ताल को वापस नहीं लेने का फैसला किया।