बांग्लादेश के कप्तान शाकिब अल हसन पर दो साल का बैन
नई दिल्ली
इंटरनैशनल क्रिकेट काउंसिल (ICC) ने बांग्लादेश के ऑलराउंडर क्रिकेटर और टेस्ट-टी20 के कप्तान शाकिब अल हसन पर दो साल के लिए प्रतिबंध लगा दिया है। अब शाकिब अगले दो साल तक किसी भी तरह की क्रिकेट में हिस्सा नहीं ले पाएंगे। शाकिब ने आईसीसी ऐंटी करप्शन कोड की अवहेलना संबंधी तीन आरोपों को स्वीकार कर लिया। शाकिब पर एक साल का पूर्ण प्रतिबंध और 12 महीने की अवधि का निलंबित प्रतिबंध लगाया गया है । इस बैन के बाद यह भी साफ हो गया है कि शाकिब अब 3 नवंबर से शुरू हो रहे बांग्लादेश के भारत दौरे का हिस्सा नहीं बन पाएंगे। उन्हें इस दौरे के लिए भी कप्तान नियुक्त किया गया था।
शाकिब पर आरोप थे कि उन्होंने बांग्लादेश, श्रीलंका और जिम्बाब्वे के खिलाफ जनवरी में खेली गई त्रिकोणीय सीरीज 2018 और आईपीएल 2018 के दौरान उनसे सट्टेबाजों ने संपर्क किया था लेकिन उन्होंने आईसीसी की भ्रष्टाचार रोधी इकाई को पूर्ण रूप से इससे अवगत नहीं कराया था। शाकिब पर बुकी द्वारा उनसे सम्पर्क करने की जानकारी छिपाने का आरोप था। इससे आईसीसी उनसे नाराज था और उसने बांग्लादेश क्रिकेट बोर्ड को शाकिब को अभ्यास सत्र से दूर रखने के लिए पहले ही बता दिया था। आईसीसी द्वारा जारी विज्ञप्ति के मुताबिक शाकिब सीनियर खिलाड़ी हैं और उन्होंने भ्रष्टाचारी निरोधी आईसीसी द्वारा आयोजित कई सेमिनार में हिस्सा लिया है इसलिए वह भलि-भांति जानते थे कि जब बुकीज ने उनसे संपर्क किया है तो उन्हें क्या करना है। लेकिन उन्होंने नियमों को जानते हुए भी आईसीसी को इससे अवगत नहीं कराया इसलिए उन पर यह बैन लगाया गया है।
अपनी इस कार्रवाई में आईसीसी ने दुनिया के नंबर 1 ऑलराउंडर खिलाड़ी को कई मौकों पर भ्रंष्टाचार संबंधी नियमों के उल्लंघन का दोषी पाया है। उन लगे चार्ज के अनुसार बुकीज ने उनसे कई बार अलग-अलग समय और सीरीज के दौरान संपर्क साधा था। नियमों के मुताबिक शाकिब को इसकी जानकारी भ्रष्टाचार निरोधी इका ई को देनी थी लेकिन वह ऐसा नहीं कर पाए। शाकिब ने अपनी गलती को स्वीकार कर लिया है। शाकिब ने इस बैन पर अपनी प्रतिक्रिया देते हुए कहा, 'स्वभाविक रूप से मैं बहुत निराश हूं कि जिस खेल से मैं प्यार करता हूं मुझे उससे प्रतिबंधित किया गया है। लेकिन मैं पूरी तरह से खुद पर लगे आरोपों को स्वीकार करता हूं कि मैंने आईसीसी को इनकी जानकारी नहीं दी थी।'