दो महीनों से कश्मीर घाटी में लगी थी पाबंदी, आज से टूरिस्ट करेंगे जन्नत का दीदार
श्रीनगर
जम्मू कश्मीर के राज्यपाल सत्यपाल मलिक ने सोमवार (7 अक्टूबर) को दो महीने से चले आ रहे उस परामर्श को वापस लेने का निर्देश दिया जिसमें पर्यटकों को घाटी छोड़ने के लिए कहा गया था। राज्यपाल ने इस परामर्श को वापस लेने को दस अक्टूबर तक तामील कराने का निर्देश दिया।
जम्मू कश्मीर प्रशासन ने दो अगस्त को एक सुरक्षा परामर्श जारी कर कश्मीर घाटी में आतंकवादी हमले की आशंका का हवाला देते हुए अमरनाथ यात्रियों और पर्यटकों से यथाशीघ्र कश्मीर छोड़कर चले जाने को कहा था। इस परामर्श के कुछ दिन बाद पांच अगस्त को केंद्र ने संविधान के अनुच्छेद 370 के अधिकतर प्रावधानों को निरस्त करने और जम्मू कश्मीर को दो केंद्रशासित प्रदेशों में बांटने की घोषणा की थी।
एक सरकारी प्रवक्ता ने बताया कि राज्यपाल ने यहां सलाहकारों और मुख्य सचिव के साथ 'स्थिति एवं सुरक्षा समीक्षा बैठक में यह निर्देश दिया। प्रवक्ता ने बताया कि राज्यपाल को यह भी बताया गया कि प्रखंड विकास परिषद (बीडीसी) के चुनाव पार्टी आधारित हैं, इसलिए विभिन्न दलों के प्रतिनिधिमंडल को जेल में अपने पार्टी अध्यक्षों (जो भी जेल में बंद हैं) से एक बार मिलने की इजाजत दी जा रही है ताकि वे चुनाव पर निर्णय ले सकें और किसी को उम्मीदवारों को मंजूर करने के लिए अधिकृत कर सकें।
जम्मू कश्मीर में 24 अक्टूबर को बीडीसी चुनाव हैं। प्रवक्ता ने कहा, ''राज्यपाल ने निर्देश दिया कि पर्यटकों को घाटी छोड़कर चले जाने का गृह विभाग का परामर्श तत्काल वापस लिया जाए। ऐसा दस अक्टूबर को तत्काल प्रभाव से किया जाएगा।"