धान बोनस के बाद राज्य में आज से तेन्दूपत्ता बोनस तिहार : मुख्यमंत्री करेंगे नक्सल प्रभावित बीजापुर जिले से शुभारंभ
JOGI EXPRESS
डॉ. रमन सिंह 1.39 लाख से अधिक संग्राहकों को देंगें 23 करोड़ का बोनस
रायपुर, किसानों को धान पर बोनस देने का संकल्प पूरा करने के लिए माह अक्टूबर में मनाए गए ’तिहार’ के लगभग एक महीने बाद मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह दो दिसम्बर को प्रदेश के लगभग 11 लाख तेन्दूपत्ता संग्राहकों के लिए भी बोनस तिहार की शुरूआत करने जा रहे हैं। इस तिहार के प्रथम दो दिनों में मुख्यमंत्री 02 और 03 दिसंबर को राज्य के नक्सल हिंसा प्रभावित आठ जिलों – बीजापुर, दंतेवाड़ा, कोण्डागांव, नारायणपुर, सुकमा, जगदलपुर और राजनांदगांव के तेन्दूपत्ता बोनस वितरण कार्यक्रमों में शामिल होंगे। मुख्यमंत्री की घोषणा के अनुरूप राज्य में 10 दिवसीय तेन्दूपत्ता बोनस तिहार कल दो दिसम्बर से शुरू होकर 11 दिसम्बर तक चलेगा। बोनस तिहार प्राथमिक वनोपज सहकारी समितियों के सम्मेलनों के साथ आयोजित किया जा रहा है। इस दौरान मुख्यमंत्री प्रदेश के सात स्थानों पर आयोजित सम्मेलनों में 18 जिला वनोपज सहकारी संघों (यूनियनों) के तेन्दूपत्ता संग्राहकों को बोनस का वितरण करेंगे।
वन मंत्री श्री महेश गागड़ा ने आज बताया कि पहले दिन मुख्यमंत्री दो तारीख को नक्सल प्रभावित बस्तर संभाग के तीन जिलों में होने वाले प्राथमिक वनोपज सहकारी समितियों के सम्मेलनों में शामिल होकर एक लाख 39 हजार 589 संग्राहकों को लगभग 23 करोड़ रूपए की धनराशि बोनस के रूप में ऑनलाइन वितरित करेंगे। उनके हाथों चार जिलों के तेन्दूपत्ता संग्राहकों को बोनस मिलेगा। डॉ. सिंह बोनस तिहार का शुभारंभ पूर्वान्ह 11.40 बजे राज्य के जिला मुख्यालय बीजापुर से करेंगे, जहां नक्सल हिंसा पीडि़त दो जिलों-बीजापुर और दंतेवाड़ा जिला लघु वनोपज संघों के कुल 64 हजार 798 तेन्दूपत्ता संग्राहकों के लिए लगभग 17 करोड़ रूपए का बोनस उनके द्वारा ऑनलाइन वितरित किया जाएगा। वे इस कार्यक्रम के बाद दोपहर 2.30 बजे कोण्डागांव जिले के ग्राम धनोरा (केशकाल) में आयोजित बोनस तिहार में लघु वनोपज जिला यूनियन-कोण्डागांव जिले के केशकाल, दक्षिण कोण्डागांव वन मंडल और नारायणपुर जिले के वन मंडल नारायणपुर की प्राथमिक वनोपज समितियों के सम्मेलन में 74 हजार 791 संग्राहकों को 6 करोड़ रूपए से ज्यादा बोनस ऑनलाइन वितरित करेंगे।
मुख्यमंत्री धनोरा के कार्यक्रम में कोण्डागांव जिले के लिए 69 करोड़ 80 लाख रूपए के 14 निर्माण कार्यों का लोकार्पण, भूमिपूजन और शिलान्यास करेंगे। ये कार्य लोक निर्माण, लोक स्वास्थ्य यांत्रिकी, आदिम जाति विकास और ग्रामीण यांत्रिकी सेवा से संबंधित है। मुख्यमंत्री बोनस तिहारों में शामिल होने के बाद शाम 4.15 बजे रायपुर लौट आएंगे। मुख्यमंत्री अगले दिन 03 दिसम्बर को पूर्वान्ह सुकमा जिले के छिन्दगढ़ में आयोजित सम्मेलन में दो जिलों-सुकमा और जगदलपुर (बस्तर) जिला यूनियनों की 34 समितियों के लगभग 75 हजार सदस्यों (संग्राहकों) को बोनस बांटेंगे। वे 03 दिसम्बर को ही अपरान्ह मोहला (जिला राजनंादगांव) में आयोजित बोनस तिहार में बालोद और राजनांदगांव जिला लघु वनोपज यूनियनों की प्राथमिक वनोपज समितियों के सदस्यों को तेंदूपत्ता बोनस वितरित करेंगे।
उल्लेखनीय है कि मुख्यमंत्री की घोषणा के अनुरूप राज्य की प्राथमिक कृषि साख सहकारी समितियों के सदस्य किसानों को वर्ष 2016 के धान पर बोनस देने का संकल्प पूरा करने के लिए अक्टूबर 2017 में ’तिहार’ मनाया गया था, जिसमें 13 लाख से ज्यादा किसानों को 2100 करोड़ रूपए का बोनस ऑनलाइन दिया गया था। इसी कड़ी में अब तेन्दूपत्ता बोनस तिहारों में प्रदेश की 901 प्राथमिक वनोपज सहकारी समितियों में से 896 समितियों के दस लाख 94 हजार 361 संग्राहक सदस्यों (श्रमिकों) को पिछले वर्ष के तेन्दूपत्ता संग्रहण पर लगभग 274 करोड़ 38 लाख रूपए का बोनस (प्रोत्साहन पारिश्रमिक) दिया जाएगा।
वन मंत्री श्री गागड़ा ने यह भी बताया कि प्रदेश के संरक्षित वन क्षेत्रों में तेन्दूपत्ता संग्रहण कार्य नहीं किया जाता, इस वजह से वहां के निवासी 22 हजार 290 परिवारों को प्रति परिवार दो हजार रूपए के हिसाब से क्षतिपूर्ति राशि देने का प्रावधान किया गया है। तेन्दूपत्ता बोनस वर्ष 2016 के संग्रहण कार्य में शुद्ध लाभ अर्जित करने वाली प्राथमिक वनोपज सहकारी समितियों को उनकी शुद्ध आमदनी के 80 प्रतिशत हिस्से के रूप में दिया जा रहा है।
वन मंत्री ने बताया कि तेन्दूपत्ता संग्रहण कार्य हर साल गर्मियों में प्रदेश के वनवासी परिवारों के लिए मौसमी रोजगार और अतिरिक्त आमदनी का बेहतर जरिया है। मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह ने उनके हितों का ध्यान रखते हुए विगत चौदह साल में तेन्दूपत्ता संग्रहण पारिश्रमिक की राशि 450 रूपए प्रति मानक बोरे से क्रमशः बढ़ाते हुए पिछले वर्ष 1800 रूपए कर दिया। उन्होंने आगामी वर्ष 2018 के सीजन में उनका यह पारिश्रमिक बढ़ाकर 2500 रूपए प्रति मानक बोरा करने की भी घोषणा की है। इसके अलावा प्रदेश में वर्ष 2004 से वर्ष 2016 तक तेन्दूपत्ता संग्राहक परिवारों को 2148 करोड़ रूपए का पारिश्रमिक और 1588 करोड़ 32 लाख रूपए बोनस दिया जा चुका है।
मुख्यमंत्री बीजापुर में करेंगे 212 के निर्माण कार्यों का लोकार्पण-भूमिपूजन
श्री गागड़ा ने बताया कि मुख्यमंत्री बीजापुर में आयोजित बोनस तिहार के अवसर पर बीजापुर जिले के विकास के लिए लगभग 212 करोड़ रूपए के विभिन्न निर्माण कार्यों का लोकार्पण-भूमिपूजन और शिलान्यास भी करेंगे। इनमें से पूर्ण हो चुके मिंगाचल पुल, सिर्राकोटा एनीकट, बीजापुर खेल परिसर में निर्मित उद्यान, बीजापुर में ही 100 सीटोवाले चार आश्रम भवन शामिल हैं। डॉ. सिंह जिले के ग्राम तिम्मापुर, कोड़ोली और नैमेड में बनने वाले तीन विद्युत उपकेन्द्रों का और जिले की 9 जल प्रदाय योजना का शिलान्यास भी करेंगे। उनके हाथों एजुकेशन सिटी के लिए 250 सीटों वाले कन्या और बालक छात्रावास भवनों सहित कन्या शिक्षा परिसर में स्वीकृत 100 सीटों के बालिका आश्रम शाला भवन का भी भूमिपूजन और शिलान्यास होगा।
प्रधान मुख्य वन संरक्षक और छत्तीसगढ़ राज्य लघु वनोपज सहकारी संघ के प्रबंध संचालक श्री मुदित कुमार सिंह ने आज यहां बताया कि निर्धारित कार्यक्रम के अनुसार राज्य में कल दो दिसम्बर से 11 दिसम्बर के बीच कुल 14 स्थानों पर प्राथमिक वनोपज समितियों के सम्मेलन के रूप में तेंदूपत्ता बोनस तिहार मनाया जाएगा। मुख्यमंत्री के साथ वन मंत्री श्री महेश गागड़ा और संबंधित जिलों के प्रभारी मंत्री भी इन सम्मेलनों में शामिल होंगे। मुख्यमंत्री पांच दिसम्बर को बलरामरापुर-रामानुजगंज जिले के शंकरगढ़ में आयोजित बोनस तिहार में बलरामपुर और सरगुजा जिला यूनियनों की समितियों के सदस्यों को, बोनस बांटेंगे। डॉ. सिंह आठ दिसम्बर को बिलासपुर जिले के मरवाही में पूर्वान्ह आयोजित सम्मेलन में तीन जिला यूनियनों-मरवाही, बिलासपुर और जांजगीर-चांपा की समितियों के सदस्यों को तथा अपरान्ह रायगढ़ जिले के धर्मजयगढ़ में आयोजित सम्मेलन में रायगढ़, कटघोरा, कोरबा और धर्मजयगढ़ जिला यूनियनों की समितियों के सदस्यों को बोनस की राशि वितरित करेंगे।
तेन्दूपत्ता बोनस तिहारों में प्रदेश सरकार के मंत्रीगण भी अलग-अलग जिला यूनियनों के कार्यक्रमों में मुख्य अतिथि के रूप में शामिल होकर संग्राहकों को प्रोत्साहन पारिश्रमिक (बोनस) बांटेंगे। वन मंत्री श्री महेश गागड़ा, गृह मंत्री श्री रामसेवक पैकरा और आदिम जाति विकास मंत्री श्री केदार कश्यप चार दिसम्बर को कांकेर जिले के अंतागढ़ में आयोजित सम्मेलन में तीन जिला लघु वनोपज यूनियनों-पूर्वी भानुप्रतापपुर, पश्चिम भानुप्रतापपुर और कांकेर की समितियों के सदस्यों को बोनस वितरित करेंगे। वन मंत्री, गृह मंत्री और आदिम जाति विकास मंत्री छह दिसम्बर को गरियाबंद जिले के मैनपुर में आयोजित सम्मेलन में धमतरी और गरियाबंद जिला यूनियनों के तेन्दूपत्ता संग्राहकों को बोनस राशि प्रदान करेंगे।
प्रबंध संचालक ने बताया-निर्धारित कार्यक्रम के अनुसार तीनों मंत्री सात दिसम्बर को पूर्वान्ह कबीरधाम जिले के बोड़ला में आयोजित कार्यक्रम में कवर्धा जिला यूनियन के संग्राहकों को और उसी दिन अपरान्ह राजनांदगांव जिले के साल्हेवारा में आयोजित सम्मेलन में खैरागढ़ जिला यूनियन के संग्राहकोें को बोनस प्रदान करेंगे। वन मंत्री श्री गागड़ा, गृह मंत्री श्री पैकरा और आदिम जाति विकास मंत्री श्री कश्यप 9 दिसम्बर को महासमुन्द जिले के खल्लारी में आयोजित बोनस तिहार में बलौदाबाजार और महासमुन्द जिला यूनियनों के संग्राहकों को तथा अगले दिन 10 दिसम्बर को कोरिया जिले के सोनहत में आयोजित बोनस तिहार में कोरिया, सूरजपुर और मनेन्द्रगढ़ जिला यूनियनों के तेन्दूपत्ता संग्राहकों को बोनस राशि का वितरण करेंगे। तीनों मंत्री 11 दिसम्बर को जशपुर जिले के कोतबा में आयोजित बोनस तिहार में जशपुर जिला यूनियन के तेन्दूपत्ता संग्राहकों को बोनस राशि प्रदान करेंगे। राज्य लघुवनोपज सहकारी संघ के प्रबंध संचालक ने सभी जिला वनोपज सहकारी यूनियनों के प्रबंध संचालकों को इन सम्मेलनों का कार्यक्रम जारी कर दिया है।