महिला पत्रकार का आऱोप, पुलिस ने डर्टी टच करते हुए धक्का दिया ,क्राइम ब्रांच निरिक्षक गौरव तिवारी सस्पेंड

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जोगी एक्सप्रेस 

रायपुर- छत्तीसगढ़ के कद्दावर मंत्री के खिलाफ कथित सेक्स सीडी क्या मिली पूरी जमात उसे सही और गलत साबित करने में जुट गई ,चंद लोगो ने अपना फर्ज भूलते हुए बाइज्ज़त बरी होने का फैसला तक सुना डाला ,जबकि कल मुख्यमंत्री ने प्रेस कांफ्रेस कर सभी मीडियाकर्मियों के सामने कहा था की इस  पुरे मामले पर सी बी आई को जारी करने वाले दस्तावेजो पर हमने हस्ताक्षार कर दिया है ,फिर कुछ चैनलो ने मंत्री जी के प्रति पूरी इमानदारी बरतते हुए उन्हें साफ़ बरी कर दिया ,क्यू इतनी जल्दी थी ?क्या वजह रही की लोगो ने जाँच रिपोर्ट का इंतज़ार करना भी मुनासिब नहीं समझा और जो बयान बीजेपी ने जारी किये उसे ही सत्य मानना मजबूरी समझ बैठे,वर्सो से लंबित मामलो पर तो कोई कार्यवाही हुई नहीं ,और एक वरिस्ट पत्रकार विनोद वर्मा के मामले में इतनी जल्दी ,इतनी फुर्ती कहा
से  आ गईआज एक पत्रकार पर आरोपों की झड़ी लग गई ,वही एक और घटना ने छत्तीसगढ़ की राजधानी रायपुर में महिला पत्रकार के साथ हुई बदसलूकी और डर्टी टच मामले में सरकार और पुलिस की कार्यप्रणाली पर ही संदेह उठने लगा ,मामला बीते शाम का है जहा पर पत्रकार विनोद वर्मा से उनका विचार और इस पुरे घटना क्रम की जानकारी लेने के लिए महिला पत्रकार पहुची ,जिसे पुलिस ने डर्टी टच करते हुए धक्कामुक्की कर बाहर कर दिया ,इस तरह महिला पत्रकारों के साथ बदसलूकी मामले की जानकारी मिलने पर सभी पत्रकार एक जुट हो कर थाने में अपनी शिकायत दर्ज कराने पहुचे जहा पर पुलिस द्वारा टाल मटोल किये जाने से मामला काफी बढ़ गया देखते ही देखते थाना सिविल लाइन में पत्रकारों की भीड़ जमा होने लगी ,जिसको देखते हुए पुलिस कप्तान संजीव शुक्ला रायपुर ने क्राइम ब्रांच में पदस्थ निरिक्षक गौरव तिवारी को सस्पेंड कर दिया ,साथ ही अस्वासन देते हुए कहा की इस मामले की मजिस्ट्रियल जाँच के आदेश दिए,साथ ही दोषी पाए जाने पर बाकी पुलिस कर्मियों पर भी कड़ी कार्यवाही करने का अस्वासन पुलिस कप्तान संजीव शुक्ला रायपुर ने दिया ,जानकारी मुताबिक अब मामला पुलिस कर्मियों से जुड़ा
 होने की वजह से महिला पत्रकारों की रिपोर्ट तो नहीं लिखी गई !

क्या था मामला 

जब वहां मौजूद मीडियाकर्मियों ने विनोद वर्मा से बातचीत करने की कोशिश की. इस बीच कोर्ट परिसर पहुंचे भाजपा कार्यकर्ताओं ने  जमकर नारेबाजी शुरू कर दी.
 सावधानी के तौर पर पुलिस दोबारा विनोद वर्मा को कोर्ट के भीतर ले गई. भारी हंगामा और गहमागहमी के बीच कुछ देर बाद पुलिस दोबारा विनोद वर्मा को लेकर बाहर निकली. इस दौरान पुलिस-मीडियाकर्मियों के बीच झूमाझटकी होने की भी खबर है. बताया जा रहा है कि कोर्ट में कवरेज के लिए तैनात मीडियाकर्मियों ने विनोद वर्मा से सवाल पूछना चाहा, लेकिन पुलिस मीडियाकर्मियों को धक्के मारते हुए निकल गई. इससे आक्रोशित मीडिया और पुलिस के बीच जमकर बहसबाजी भी हुई. बहसबाजी के बीच धक्कामुक्की में कई पत्रकार औऱ पुलिस कर्मी जमीन पर गिर गए

 महिला पत्रकार का आऱोप, पुलिस ने डर्टी टच करते हुए धक्का दिया

 इधर कोर्ट में कवरेज करने पहुंची महिला पत्रकारों से पुलिसकर्मियों द्वारा बदसलूकी की गई. बताया जा रहा है कि विनोद वर्मा से महिला पत्रकार उनका पक्ष जानना चाहती थी. इस दौरान पुलिसकर्मी ने श्रेया पांडेय जो की महिला पत्रकार है को डर्टी टच करते हुए धक्का मार कर बहार कर रहे थे
. एक अन्य महिला पत्रकार अंकिता शर्मा ने आरोप लगाया कि पुलिस ने आपत्तिजनक ढंग से सीने पर हाथ रखते हुए धक्का मारा है. नाराज पत्रकारों ने इसका पुरजोर तरीके से विरोध किया. पत्रकारों ने पुलिसिया बर्ताव के विरोध में रोष प्रकट किया

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