करोडपतियो को भी शिक्षा और उपचार के नाम पर खेल मंत्री भईया लाल राजवाड़े बाट रहे रेवड़ी :प्रवीण जैन

0

नियमों को धता बताते हुए खेल मंत्री ने स्वेक्षानुदान राशि का किया बंदरबांट: प्रवीण जैन 

चुनावों से पूर्व किया चहेतों को उपकृत भ्रष्टाचार का बड़ा मामला

रायपुर:खेल एवं युवा कल्याण मंत्री भईया लाल राजवाड़े द्वारा अपनी स्वेक्षानुदान राशि का दुरुपयोग सारे नियम कायदों को ताक पर रख जरूरत मंदो का हक मार कर निजी लाभ के लिए उपयोग किया गया। छत्तीसगढ़ कांग्रेस स्पोर्ट्स सेल के प्रदेशाध्यक्ष प्रवीण जैन ने खेल मंत्री पर आरोप लगाते हुए  को लोकायुक्त में निम्न लिखित बिंदुओं में शिकायत कर सैकड़ों पृष्ठों के प्रमाणित दस्तावेज साक्ष्य स्वरूप प्रस्तुत कर जांच की मांग की है

 

1, भाजपा नेताओं, पदाधिकारियों निर्वाचित जनप्रतिनिधियों सहित अपने नाते-रिस्तेदारों को बांटी गई सरकारी रकम, कुछ चहेते वरिष्ठ पदाधिकारियों के परिवार के प्रत्येक सदस्य को दी गई लाखो की राशि।

2, करोड़पति व्यापारी जो इनकम टैक्स पेयर हैं, हर चीज में सक्षम हैं उन्हें शिक्षा और उपचार के नाम पर बांटी गई रेवड़ी। कुछ व्यापारियों को तो निजी सामग्री खरीदी के एवज में भुगतान शासन के पैसे से किया गया है।

3, चुनावों में मीडिया मैनेज करने के नाम पर बेव पोर्टल, मासिक साप्ताहिक पत्रिकाओं, समाचार पत्रों, इलेक्ट्रॉनिक मीडिया को चुनाव पूर्व इलाज के नाम पर रकम दी गई।
इनमें से कई पत्रकारों को तो कई सालों से इलाज के नाम पर रकम दी जाती रही है।
जिन पत्रकारों को यह रकम मिली है, वे चुनाव आयोग के मीडिया प्रमाणन अन्वेशण समिति के सदस्य हैं, जिससे निष्पक्षता पर संदेह है और परीक्षण भाजपा के पक्ष में कर सकते हैं चुनाव प्रभावित।

4, शासन के नियमित कर्मचारी और उनके परिवारों में भी बांटी गई है इलाज की रेवड़ी।
प्रवीण जैन ने जानकारी देते हुए बतलाया कि यह तो खेल एवं युवा कल्याण मंत्री के भ्रष्टाचार का एक मामला ही है ऐसे कई मामलों की सीरीज आना अभी बाकी है।

इनका कहना है …

जनता कांग्रेस प्रदेश प्रवक्ता संजीव अग्रवाल ने स्वेक्षानुदान राशि के  बंदरबांट   पर कड़ी आपत्ति करते हुए कहा की इस तरह पद का  दुरुपयोग कर चुनाव को प्रभावित करने की भाजपा की मंशा को लेकर चुनाव आयोग से शिकायत करेंगे इस तरह की धाधली वो भी चुनाव के वक़्त सिर्फ सत्ता में बने रहने का मकसद है जो कभी सफल नहीं होगा ,

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *