भाजपा के आंदोलन पर कांग्रेस की प्रतिक्रिया

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मोदी जी का आंदोलन जीवी वाला ईशारा रमन सिंह भाजपा के लिए

जब रमन सिंह मुख्यमंत्री थे भाजपा की सरकार थी तब किसानों की सुध नही ली युवाओ के रोजगार के बारे में नही सोचा

भाजपा का आंदोलन मोदी हित में जनता से कोई सरोकार नही,

भाजपा मोदी सरकार के विफलताओं पर पर्दा डालने, पेट्रोल डीजल रसोई गैस की महंगाई और किसान आंदोलन से ध्यान भटकाने करेगी आंदोलन की नाटक नोटंकी

रायपुर/19 फरवरी 2021। भाजपा के प्रस्तावित आंदोलन पर कांग्रेस ने प्रतिक्रिया व्यक्त की प्रदेश कांग्रेस प्रवक्ता धनंजय सिंह ठाकुर ने कहा कि भाजपा अब मोदी सरकार के विफलताओं पर पर्दा डालने, बीते 7 साल से जनता के साथ हो रही वादाखिलाफी, धोखेबाजी, पेट्रोल-डीजल, रसोई गैस में मुनाफाखोरी, सरकारी उपक्रमो का निजीकरण, नये तीन कृषि कानून के खिलाफ बढ़ते किसानों का आक्रोश, देशभर में हो रहे किसान आंदोलन, किसानों के आंदोलन को मिल रहे व्यापक जनसमर्थन, बढ़ती बेरोजगारी, घटती अर्थव्यवस्था और मोदी सरकार के लापरवाही के चलते देशभर में फैली कोरोना महामारी से जनता का ध्यान हटाने के लिए मोदी हित में अब भाजपा आंदोलन कर रही है भाजपा के आंदोलन से जनता का कोई सरोकार नहीं है।
प्रदेश कांग्रेस प्रवक्ता धनंजय सिंह ठाकुर ने कहा कि मोदी जी ने आंदोलन जीवी कहकर पहले ही छत्तीसगढ़ भाजपा की ओर इशारा कर दिया है। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल सरकार के 2 साल के कार्यकाल के बाद छत्तीसगढ़ में भाजपा मुद्दा विहीन हो चुकी।भाजपा अब आंदोलन जीवी बनने के राह पर चल चुकी है।

प्रदेश कांग्रेस प्रवक्ता धनंजय सिंह ठाकुर ने कहा कि छत्तीसगढ़ भाजपा के नेता अगर वास्तव में किसानों का भला चाहते हैं तो अपने 9 सांसदों से कहें कि वह केंद्र सरकार से किसानों के हित में एफसीआई में 60 लाख मैट्रिक टन चावल लेने की सैद्धांतिक सहमति का अनुमति प्रदान कराएं। किसानों के हित में नए कृषि कानून को वापस छत्तीसगढ़ के साथ भेदभावपूर्ण बर्ताव बंद करें और छत्तीसगढ़ भाजपा के नेता सांसद और विधायक जनता के द्वारा दी गई जिम्मेदारियों का ईमानदारी से निर्वहन करें।

प्रदेश कांग्रेस प्रवक्ता धनंजय सिंह ठाकुर ने कहा कि जब यूपीए सरकार थी, उस दौरान अंतरराष्ट्रीय बाजार में क्रूड ऑयल के दाम बढ़ते रहे हैं, तब देश में पेट्रोल-डीजल के दामों में आंशिक वृद्धि होती थी, तब यही भाजपा नेत्रियां आलू प्याज की माला पहनकर, खाली गैस टंकी और चूल्हे को रखकर मोटरसाइकिल और मोपेड को धक्का मारकर पेट्रोल-डीजल के दामों के वृद्धि का विरोध करते थे। अब जब अंतरराष्ट्रीय बाजार में क्रूड ऑयल की कीमत 2014 के पहले के मुकाबले निम्न स्तर पर है और जब देश की जनता को वर्तमान कीमत से आधे दाम में पेट्रोल-डीजल, रसोई गैस मिलनी चाहिए। ऐसे समय में मोदी सरकार देश की जनता का जेब खाली करने में तुली हुई है। पेट्रोलियम पदार्थों में मुनाफाखोरी कर रही है और मोदी सरकार के मंत्री कहते हैं कि पेट्रोल-डीजल की कमाई से सड़क बनेंगे, ब्रिज बनेंगे, पुल बनेंगे, इंफ्रास्ट्रक्चर तैयार होगा। वहीं दूसरी ओर सड़कों पर चलने वाले वाहनों से बेतहाशा टोल टैक्स वसूला जा रहा है। हाइवे में चलने पर प्रत्येक किलोमीटर में कार चालक, ट्रांसपोर्ट्स को 5 रु. से लेकर 50 रु. तक प्रति किलोमीटर की दर से टोल टैक्स चुकाने पड़ रहे।जिसके कारण महंगाई और बढ़ रही है।

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