अर्जुनी में सोशल डिस्टेंस का नही हो रहा पालन, बैंकों में उमड़ी भीड़ उड़ा रही सोशल डिस्टेंस की धज्जी
रूपेश वर्मा.
अर्जुनी – जंहा एक पूरे देश मे कोरोना वायरस के संक्रमण के बचाव के लिए लॉक डाउन लागू किया गया है , वंही लोगो द्वारा कारण ,अकारण रूप से शासन द्वारा लागू नियमो व लॉक डाउन जैसे आदेशों व सोशल डिस्टेंस की धज्जियाँ उड़ा रहे है ।जो ऐसे समय एक बड़े खतरे को न्यौता दे रहा है। अर्जुनी के इकलौते छत्तीसगढ़ राज्य ग्रामीण बैंक शाखा अर्जुनी में इन दिनों यह नजारा देखना आम बात हो गई है। यंहा बैंक खुलने के 1 घंटे पहले से ही बैंक में खाताधारी सोशल डिस्टेंस का पालन नही करते हुए भीड़ में खड़े रहते है । जब इस भीड़ का जायजा लिया गया तो पता चला कि लोग पैसो के लेनदेन करने व ज्यादा भीड़ उनके कारण बन रहता है जो अपने जनधन में सरकार द्वारा डाले गए 500 रुपये की राशि निकालने के लिए इस संकट की घड़ी में अपने जान की भी परवाह न करते हुए आये है। साथ ही लोगो का कहना है की जनधन खाते में 500 रुपये नही निकाला गया तो यह पैसा लैप्स हो जाएगा इसलिए वे पैसा निकालना चाह रहे हैं ।इस अफवाह के कारण भी लोग भीड़ लगाए हुए है। ज्ञात हो कि छत्तीसगढ़ राज्य ग्रामीण बैंक शाखा अर्जुनी के अंतर्गत अर्जुनी,रवान,मानव कॉलोनी,खैरताल ,भद्रापाली,देवरानी,टोनाटार आदि गांव के खाताधारक है, जो इसी बैंक से अपना लेनदेन करते है जिस वजह से लोगो की भीड़ यंहा पर लगा रहता है।
बैंक का गेट बंद, रंगमंच परिसर में हो बैंक का काम।
वंही लॉक डाउन होने के चलते बैंक अधिकारियों द्वारा लोगो के भीड़ को देखते हुए कार्यालयीन समय मे बैंक का चैनल गेट को बंद रखा जाता है । ताकि बैंक परिसर में अनावश्यक भीड़ न हो जिस वजह से लोग बैंक के बगल में स्थित ग्राम पंचायत के रंगमंच में भीड़ लगाए हुए अपने बारी का इंतजार करते भीड़ लगाए खड़े रहते है और बैंक के कर्मचारियों द्वारा वंही पर इसका निपटारा किया जा रहा है,जो कि संक्रमण फैलने के लिए पर्याप्त है । इसमे तो कोरोना वायरस के बचाव के गाइडलाइन के अनुसार मास्क , व कपड़े से मुह नाक को ढकना अनिवार्य है किंतु कई लोग द्वरा बिना मास्क लगाए ही भीड़ में खड़े रहते है। इस प्रकार के पैसा लैप्स हो जाने के अफवाह पर बलौदा बाजार जिला प्रशासन द्वारा इस प्रकार की बातों को कोरी अफवाह बताया गया है , और ऐसे अफवाह फैलाने वालो के ऊपर कानूनी कार्यवाही की जाने की बात कही है। लेकिन स्थिती यह है, कि लोग शासन के
नियमो को अनदेखा कर जागरूकता कम नियमो को तोड़ते ज्यादा दिखाई दे रहा है।इस दिशा में प्रशासन को हस्तक्षेप करना आवश्यक है ।