दूरस्थ ग्रामीण अंचलों में अनिवार्य स्वास्थ्य सेवाओं के लिये शीघ्र बनेगी नई स्वास्थ्य नीति
भोपाल
चिकित्सा शिक्षा मंत्री डॉ. विजयलक्ष्मी साधौ ने कहा है कि प्रदेश के दूरस्थ ग्रामीण अंचलों में अनिवार्य स्वास्थ्य सेवाएं सुलभ कराने के लिये राज्य सरकार शीघ्र ही नई स्वास्थ्य नीति लागू करेगी। इसमें स्नातक और स्नातकोत्तर डॉक्टर्स को ग्रामीण अंचलों में सेवाएँ देना अनिवार्य किया जाएगा। डॉ. साधौ सागर में बुंदेलखण्ड मेडिकल कॉलेज की स्वशासी समिति की बैठक को संबोधित कर रही थीं।
मंत्री डॉ. साधौ ने बताया कि प्रदेश के मेडिकल कॉलेजों में डीएम और एमसीएच की सीटें बढ़ाने पर गंभीरतापूर्वक विचार किया जा रहा है। साथ ही, एमबीबीएस और पीजी पाठ्यक्रमों में भी सीटें बढ़ायी जायेंगी। डॉ. साधौ ने मेडिकल कॉलेज के डीन डॉ. जी.एस. पटेल को निर्देश दिये कि कॉलेज में फिजियोथेरेपी सेक्शन शीघ्र शुरू करायें। साथ ही, कॉलेज की आय बढ़ाने के लिये सकारात्मक प्रयास करें। उन्होंने बताया कि राज्य सरकार पैरा-मेडिकल और नर्सिंग स्टाफ की कमी को दूर करने के लिये प्रयासरत है।
बैठक में स्वशासी समिति के सचिव डॉ. डी.के. जैन, मेडिकल कॉलेज के सभी विभागों के विभागाध्यक्ष और प्रशासनिक अधिकारी मौजूद थे।