November 22, 2024

उद्धव कैबिनेट का विस्तार कल, अजित पवार हो सकते हैं नंबर-2

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महाराष्ट्र
महाराष्ट्र में नई सरकार के गठन के बाद अब सोमवार, 30 दिसंबर को कैबिनेट विस्तार होगा। कैबिनेट विस्तार को लेकर चर्चा है कि एनसीपी के अजित पवार को उद्धव सरकार में डिप्टी सीएम घोषित किया जाएगा। सूत्रों के मुताबिक एनसीपी के अजित पवार उप मुख्यमंत्री पद की शपथ लेंगे। 

नेशनलिस्ट कांग्रेस पार्टी (NCP) के नेता अजित पवार इससे पहले भी महाराष्ट्र के उप मुख्यमंत्री पद की शपथ ले चुके हैं। लेकिन पिछली बार उप मुख्यमंत्री के रूप में उनका कार्यकाल कुछ घंटों के लिए ही था। उन्होंने महाराष्ट्र चुनाव नतीजे आने के कुछ दिनों बाद देवेंद्र फडणविस से हाथ मिला लिया था। तब एक दिन बाद ही अजित पवार ने राज्यपाल कोशियारी को अपना इस्तीफा सौंप दिया था। अजित पवार के जाते ही देवेंद्र फडणविस ने भी सीएम पद से इस्तीफा दे दिया था और कहा था कि अब वे विपक्ष का नेता बनकर महाराष्ट्र के विकास के लिए काम करेंगे।

महाराष्ट्र में ऐसे हुआ विभागों का बंटवारा
महाराष्ट्र की शिवसेना, एनसीपी और कांग्रेस गठबंधन की सरकार में विभागों का बंटवारा पहले ही हो चुका है। महाराष्ट्र सरकार में कांग्रेस को राजस्व, ऊर्जा, शिक्षा, पीडब्ल्यूडी, वस्त्र, महिला एवं बाल कल्याण विभाग मिले। शिवसेना को सरकार में गृह, शहरी विकास मंत्रालय मिले हैं। वहीं, एनसीपी को महाराष्ट्र सरकार में वित्त, आवास, लोक स्वास्थ्य, सहकारी मंत्रालय मिले हैं। कांग्रेस से बालासाहेब थोराट को राजस्व विभाग, स्कूल शिक्षा आदि विभाग मिले हैं। एनसीपी के जयंत पाटिल को वित्त और योजना, आवास, खाद्य आपूर्ति और श्रम विभाग दिया गया है। इसके अलावा शिवसेना से मंत्री एकनाथ शिंदे को गृह मंत्रालय दिया गया है। शिंदे को शहरी विकास, पर्यावरण, पीडब्ल्यूडी, पर्यटन और संसदीय कार्य विभाग भी मिला है। वहीं, एनसीपी नेता छगन भुजबल को ग्रामीण विकास, सामाजिक न्याय, जल संसाधन आदि विभाग मिले हैं।
 
महाराष्ट्र में उद्धव ठाकरे की अगुवाई वाले गठबंधन में अजित पवार अगले उपमुख्यमंत्री होंगे या नहीं, इस सवाल पर राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी के प्रमुख शरद पवार ने अपना पक्ष रखने से इनकार कर दिया था। शरद पवार ने तकरीब एक माह पहले एनडीटीवी में दिए एक इंटरव्यू में कहा था, "तीन सदस्यीय गठबंधन महाराष्ट्र विकास अघाड़ी में अजित पवार की संभावित भूमिका पर पूछे गए सवालों के जवाब नहीं दे सकता।" उन्होंने कहा था कि यह निर्णय एक व्यक्ति द्वारा नहीं लिया जाएगा, पार्टी के वरिष्ठ नेताओं के परामर्श के बाद फैसला होगा। शरद पवार ने आगे कहा था कि एनसीपी में, विशेष रूप से विधायक दल के बड़े सदस्य अजित के साथ जुड़ाव रखते हैं। एनसीपी विधायक अजित के भाजपा से हाथ मिलाने के फैसले से खुश नहीं थे लेकिन अजित के लिए एनसीपी विधायकों में पूरा सम्मान है।

अजित क्यों थे नाखुश
भाजपा के साथ अजित पवार के हाथ मिलाने के बारे में पवार ने कहा था, वह चर्चा के बीच से ही लौट गए थे और कांग्रेस व हमारे बीच वार्ता से वह बहुत खुश नहीं थे। वह पूरी तरह नाखुश थे। उस स्थिति में उन्होंने ऐसा निर्णय लिया। पवार ने कहा था, लेकिन उन्हें महसूस हो गया कि यह सही निर्णय नहीं है और इसलिए अगली सुबह वह आए, मुझे देखा और इन सबसे अलग हो गए। शरद पवार ने कहा था कि एनसीपी में उनके भतीजे की अच्छी पकड़ है लेकिन यह बताने से इनकार कर दिया था कि महाराष्ट्र की नई सरकार में उनके भतीजे को उपमुख्यमंत्री का पद मिलेगा अथवा नहीं।

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