November 23, 2024

सऊदी अरब के साथ तनाव बढ़ने पर, ओपेक से संबंध ख़त्म करेगा क़तर

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FILE - In this May 5, 2018, file photo, a giant image of the Emir of Qatar Sheikh Tamim bin Hamad Al Thani, adorns a tower in Doha, Qatar. The tiny, energy-rich Arab nation of Qatar announced on Monday, Dec. 3, 2018 it would withdraw from OPEC, mixing its aspirations to increase production outside of the cartel's constraints with the politics of slighting the Saudi-dominated group amid the kingdom's boycott of Doha. (AP Photo/Kamran Jebreili, File)

क़तर,अरद का ऊर्जा से धनी देश क़तर ने सोमवार को ऐलान किया कि वह तेल निर्यातक देशों के संघठन ओपेक से नाता तोड़ देगा। क़तर के ऊर्जा मंत्री की तरफ से यह आश्चर्यचकित घोषणा थी। साल 2016 में तेल की कीमते गिरने से इस संघठन के सदस्यों पर तेल उत्पादन कम करने का दबाव बनाया गया था, उस वक्त तेल की कीमत 30 डॉलर प्रति बैरल थी। साल 1960 में इस संघठन की संस्थापना के बाद पहली बार कोई मिडिल ईस्ट का देश इससे बाहर निकला हैकतर के विदेश मंत्री ने बयान में कहा कि दुनिया का सबसे विशाल प्राकृतिक गैस का निर्यातक क़तर ने अपने निर्यात को बढ़ाने की योजना तैयार की है, यानी 77 मिलियन टन से 110 मिलियन तों करना चाहता है। उन्होंने कहा कि क़तर साथ ही तेल उत्पादन में भी वृद्धि करना चाहता है, 4.8 मिलियन बैरल से 6.5 मिलियन बैरल करना चाहता है।विदेश मंत्री ने कहा कि इन प्रयासों को योजनाओं से क़तर अपनी स्थिति को मज़बूत करना चाहता हैं और वैश्विक स्तर पर एक विश्वनीय और भरोसेमंद ऊर्जा निर्यातक बनने के लिए यह सब कर रहा है। उन्होंने कहा कि अंतर्राष्ट्रीय ऊर्जा की तस्वीर में क़तर को अपने किरदार और योगदान की समीक्षा करने के लिए कदम उठाने ही होंगे।इस बयान पर विएना में स्थित ओपेक ने कोई टिप्पणी नहीं की है। इसकी बैठक इस महीने आयोजित होगी, संभवतः इसमें उत्पादन कम करने के बाबत चर्चा की जाएगी। साल 1971 में क़तर को आज़ादी मिली थी और इस आबादी 2.6 मिलियन हैक़तर में व्यापक भण्डार को ढूंढने में इंजिनियरों को कई साल लगाये थे।क़तर बेहद आमिर देशों की सूची में है, साल 2022 में फीफा विश्व कप का आयोजन करेगा। जून 2017 में क़तर में राजनीतिक अस्थिरता के कारण बहरीन, मिस्र, सऊदी अरब और संयुक्त अरब अमीरात ने इसका बहिष्कार किया था। क़तर की अंतर्राष्ट्रीय राजनीतिक में महत्वता भी काफी है। ओपेक में सऊदी अरबी का दबदबा हैं जिससे क़तर को कोई खासी ख़ुशी नहीं हैं। ओपेक का सबसे विशाल निर्यातक भी सऊदी अरब है।

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