ओपीजेसीसी ने युवाओं को आत्मनिर्भर बनाने हेतु चलाया कौशल विकास अभियान
देश के युवाओं को कुशल बनाना जेएसपीएल के संस्थापक चेयरमैन श्री ओपी जिन्दल का सपना थाः नीलेश टी. शाह
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के मार्गदर्शन में बनी राष्ट्रीय व्यावसायिक शिक्षा एवं प्रशिक्षण परिषद दे रही कौशल विकास कार्यक्रमों को मजबूती
प्रशिक्षित युवाओं को प्रमाणपत्र दिये जाएंगे ताकि वे बेहतरीन आजीविका प्राप्त कर खुशहाल जीवन जी सकें
रायपुर/रायगढ़, 30 नवंबर 2021 – जाने-माने उद्योगपति श्री नवीन जिन्दल के नेतृत्व वाली कंपनी जिन्दल स्टील एंड पावर लिमिटेड (जेएसपीएल) की सेवा शाखा जेएसपीएल फाउंडेशन की पहल पर संचालित ओपी जिन्दल कम्युनिटी कॉलेज (ओपीजेसीसी) ने युवाओं को आत्मनिर्भर बनाने के लिए अपने कौशल विकास अभियान में कुछ नए आयाम जोड़े हैं। जेएसपीएल के संस्थापक चेयरमैन श्री ओपी जिन्दल जी का कहना था कि देश के युवाओं को कुशल बनाने पर ध्यान दिया जाए और उनके सपनों के अनुरूप ही उद्योगों की आवश्यकताएं पूरी करने के उद्देश्य से ओपीजेसीसी ने एक नया कौशल विकास अभियान चलाया है, जिसके तहत प्रशिक्षण प्राप्त युवाओं को प्रमाणपत्र दिये जाएंगे ताकि वे बेहतरीन आजीविका प्राप्त कर खुशहाल जीवन जी सकें।
ओपीजेसीसी के प्रशासक श्री नीलेश टी. शाह ने बताया कि इस अभियान में उन प्रतिभाशाली युवाओं को भी प्राथमिकता दी जाएगी जिनके पास कौशल तो है लेकिन प्रमाणपत्र के अभाव में वे अनेक अवसरों का लाभ उठाने से वंचित हैं। ऐसे युवाओं को कौशल-पूर्व मान्यता (रिकोग्निशन ऑफ प्रायर लर्निंग) के तहत विशेष प्रशिक्षण के बाद प्रमाणपत्र प्रदान किया जाएगा।
श्री शाह ने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी के सपनों के अनुरूप राष्ट्रीय व्यावसायिक शिक्षा एवं प्रशिक्षण परिषद (एनसीवीईटी) ने कौशल विकास कार्यक्रमों को एक नई मजबूती दी है। इस नई संस्था के गठन से कौशल विकास कार्यक्रमों की गुणवत्ता बढ़ी है और निजी क्षेत्र को आगे आकर सरकार के साथ-साथ लोगों के हाथ मजबूत करने का बेहतरीन अवसर मिल रहा है, जिससे कुशल मानव संसाधन के जरिये देश का विकास सुनिश्चित हो सके।
उन्होंने बताया कि श्रीमती शालू जिन्दल के नेतृत्व वाला जेएसपीएल फाउंडेशन युवाओं के कौशल विकास के लिए कृतसंकल्प है इसलिए ओपीजेसीसी के माध्यम से अल्प अवधि का कौशल विकास प्रशिक्षण प्रदान किया जा रहा है एवं पुरस्कार के रूप में एक निश्चित राशि प्रदान कर उन्हें प्रोत्साहित किया जा रहा है। इन युवाओं के प्रशिक्षण के लिए विशेष प्रशिक्षक भी नियुक्त किये गए हैं। कौशल विकास के इस अभियान को युवाओं की आवश्यकताओं के अनुसार अलग-अलग श्रेणियों में बांटा गया है।
पहली श्रेणी में 45 दिन की अवधि वाले कार्य के दौरान प्रशिक्षण (ऑन द जॉब ट्रेनिंग) की व्यवस्था की गई है, जिसमें प्रशिक्षक की देखरेख में निर्धारित स्थान के लाभार्थियों को प्रधानमंत्री आवास योजना-ग्रामीण एवं शौचालय निर्माण कार्य में लगाया जा रहा है। 45 दिवसीय प्रशिक्षण का यह कार्यक्रम छत्तीसगढ़ के रायगढ़, ओडिशा के अंगुल और झारखंड के पतरातू स्थित प्लांट क्षेत्र में चलाया जा रहा है।
दूसरी श्रेणी में 10 दिन के प्रशिक्षण की व्यवस्था की गई है, जिसके तहत प्रतिरूप (सिमुलेटेड) वातावरण में अनुभवी युवाओं को प्रशिक्षण दिया जा रहा है। इसमें सभी लाभार्थियों को सेतु पाठ्यक्रम (ब्रिज कोर्स) में दाखिला दिया जाता है और उनके कौशल को मानकों के अनुरूप बेहतर बनाया जाता है ताकि वे प्रमाणपत्र प्राप्त करने योग्य बन सकें। 10 दिवसीय यह कार्यक्रम अंगुल में चलाया जा रहा है।